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जोशीमठ मामला: जल शक्ति मंत्रालय ने की समिति गठित, 3 दिन में सौंपेगी रिपोर्ट

हाइलाइट्स

जोशी मठ में जमीन धंस रही, घरों को फोड़कर पानी बह रहा
केंद्र सरकार के जल शक्ति मंत्रालय की समिति गठित
घटना और उसके प्रभावों पर सौंपेगी अपनी रिपोर्ट

नई दिल्‍ली. जोशीमठ (Joshimath)  मसले पर केंद्र सरकार (Central Government) के जल शक्ति मंत्रालय (Ministry of Jal Shakti)  ने एक समिति का गठन किया है. यह समिति इस मसले पर स्टडी करके तीन दिन के भीतर केंद्र सरकार को रिपोर्ट सौपेगी. समिति उत्तराखंड के जोशीमठ के क्षेत्र में भू-धंसाव की घटना और उसका प्रभाव के मुद्दे पर अध्ययन करेंगी. समिति जोशीमठ घटना के कारण, उससे उत्पन्न होने वाली स्थिति और किए जाने वाले उपायों का पता लगाने के लिए, मानव बस्तियों/इमारतों/राजमार्गों के बुनियादी ढांचे/नदी प्रणाली आदि की सुरक्षा के लिए एक त्वरित अध्ययन करने का प्रस्ताव है.

केंद्र सरकार ने इस समिति मे पर्यावरण, वन और जलवायु परिवर्तन मंत्रालय, का एक प्रतिनिधि, केंद्रीय जल आयोग का प्रतिनिधि, भारतीय भूवैज्ञानिक सर्वेक्षण, देहरादून का एक प्रतिनिधी और राष्ट्रीय स्वच्छ गंगा मिशन के एक प्रतिनिधि को शामिल किया है. समिति इस मसले का तेजी से अध्ययन करेगी और घटना के कारण और इसके प्रभाव और संभावित प्रभाव की जांच करेगी और एनएमसीजी को 3 दिनों के भीतर एक रिपोर्ट प्रस्तुत करेगी. समिति क्षेत्र के निवासी, वहां बने भवन जैसे मसले पर भी अध्ययन करेंगी. समिति हाइड्रो-परियोजनाओं और राजमार्ग परियोजनाओं के चल रहे संचालन से गंगा नदी में प्रवाह पर क्या प्रभाव पड़ रहा है, इस पर भी रिपोर्ट करेंगी. उत्तराखंड के शहर जोशीमठ की दीवारें दरक रहीं है, जमीन धंस रही है, घरों को फोड़कर पानी बह रहा है. जोशीमठ बदरीनाथ धाम से महज 50 किलोमीटर दूर स्थित हैं.

Tags: Central government, Joshimath, Ministry of Jal Shakti


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एडवोकेट अरविन्द जैन

संपादक, बुंदेलखंड समाचार अधिमान्य पत्रकार मध्यप्रदेश शासन

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