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बैतूल-भोपाल फोरलेन पर ग्राम नीमपानी के पास मुच्छल ढाबा के सामने शनिवार शाम सड़क हादसे में एक किसान की मौत हो गई। हादसे के बाद ग्रामीणों ने आक्रोशित होकर फोरलेन पर चक्काजाम कर दिया, जो देर रात तक जारी रहा।
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पलासपानी निवासी गुलशन पिता डोमा कुमरे (30) शनिवार को पाढर के साप्ताहिक बाजार से बाइक से लौट रहे थे। गांव जाने के लिए उन्हें फोरलेन पर लगभग 100 मीटर रॉन्ग साइड चलना पड़ा क्योंकि रास्ते में कोई क्रॉसिंग नहीं है। मुच्छल ढाबा के सामने सड़क किनारे खड़े भारी वाहनों के कारण गुलशन को मुख्य सड़क पर आना पड़ा, जहां सामने से आ रही फौजदार बस ने उन्हें टक्कर मार दी। हादसे में गुलशन की मौके पर ही मौत हो गई।
इस जगह पर पहले भी हो चुके हैं हादसे इस स्थान पर पहले भी कई हादसे हो चुके हैं। 6 मई और 17 मई को भी यहां सड़क दुर्घटनाओं में दो युवकों की जान गई थी, जबकि दो अन्य घायल हुए थे। लगातार हादसों से नाराज ग्रामीणों का गुस्सा फूट पड़ा।
सड़क पार करने का कोई सुरक्षित रास्ता नहीं नीमपानी और पलासपानी के ग्रामीणों को सड़क पार करने के लिए कोई निर्धारित क्रॉसिंग नहीं है। केवल उसड़ीढाना और फांसीबढ़ जोड़ पर ही क्रॉसिंग बनी हैं, जो गांवों से काफी दूर हैं। इससे लोग मजबूरी में रॉन्ग साइड चलकर सड़क पार करते हैं।

500 ग्रामीणों ने चक्काजाम किया।
ढाबे के सामने अवैध पार्किंग बनी हादसों की वजह मुच्छल ढाबा के सामने अक्सर ट्रकों और कंटेनरों की लंबी कतारें सड़क किनारे लगी रहती हैं, जबकि ढाबे के अंदर पर्याप्त पार्किंग है। अव्यवस्थित खड़े ट्रकों के कारण बाइक सवारों को रोड पर उतरना पड़ता है और हादसे होते रहते हैं।
सात गांवों से पहुंचे ग्रामीण, प्रशासन को बुलाने पर अड़े हादसे के बाद नीमपानी, पलासपानी, पचामा, बोडकी, बाचा, खारी और अन्य गांवों से करीब 500 ग्रामीण फोरलेन पर जमा हो गए। उन्होंने हनुमान मंदिर के सामने सड़क पर बैठकर चक्काजाम कर दिया।
शाहपुर टीआई मुकेश ठाकुर पुलिस बल के साथ मौके पर पहुंचे और समझाइश देने की कोशिश की, लेकिन ग्रामीण कलेक्टर व वरिष्ठ अधिकारियों को मौके पर बुलाने की मांग पर अड़े रहे।
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