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बालाघाट के दक्षिण सामान्य वनमंडल के लालबर्रा इलाके में 7 वर्षीय नर चीतल का शिकार करने का मामला सामने आया है। वन विभाग ने इस मामले में 7 आरोपियों को गिरफ्तार किया है। आठवां आरोपी फरार है।
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घटना नवेगांव बीट की है। शिकारियों ने बुधवार रात पानी में यूरिया मिलाकर चीतल को मारा। इसके बाद उन्होंने चीतल की सींग और खाल निकाली। वे मांस को बोरियों में भरने की तैयारी कर रहे थे।
सूचना मिलते ही वन विभाग की टीम पहुंची। टीम ने दो आरोपियों को तुरंत पकड़ लिया। उनके पास से चीतल का मांस, 2 कुल्हाड़ी और 2 चाकू मिले। बाकी आरोपी मौके से भाग गए। वन विभाग की टीम ने पूरी रात छापेमारी कर पांच और आरोपियों को पकड़ा।
गिरफ्तार आरोपियों में टेकाड़ी निवासी गणेश अहीर (45), मोहनलाल मरार (52), चिचगांव निवासी आनंद गोंड (35), श्यामराव गोंड (40), धर्मेन्द्र कतिया (30), खैरगोंदी निवासी कृष्णकुमार गोंड (36) और राकेश गोंड (26) शामिल हैं।
सभी आरोपियों के खिलाफ वन्यप्राणी संरक्षण अधिनियम 1972 के तहत केस दर्ज किया गया है। गुरुवार को उन्हें वारासिवनी की अदालत में पेश किया गया। कोर्ट ने सभी को न्यायिक हिरासत में भेज दिया है। परिक्षेत्र अधिकारी हर्षित सक्सेना के अनुसार, फरार आरोपी की तलाश जारी है।
वन विभाग के अनुसार, कुछ वर्षों से सोनेवानी क्षेत्र में वन्यप्राणियों की संख्या बढ़ी है। कुछ असामाजिक तत्व इसका फायदा उठाकर वन्यप्राणियों का शिकार कर रहे हैं।


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