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खरगोन जिले के प्रसिद्ध तीर्थस्थल नन्हेश्वर धाम में कुंदा नदी पर जनसहयोग से निर्मित 18 लाख रुपए की लागत का पुल लोकार्पित कर दिया गया है। मंदिर के हरिओम बाबा ने विधायक केदार डाबर और क्षेत्र के नागरिकों की उपस्थिति में पुल का लोकार्पण किया।
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यह पुल प्रदेश में अपनी तरह का अनूठा माना जा रहा है, जिसे लाल पत्थरों से निर्मित किया गया है। जयपुर और जोधपुर के कारीगरों ने तीन वर्षों में इस पुल का निर्माण पूरा किया है। 300 फीट लंबा और 15 फीट ऊंचा यह पुल 16 पिलरों पर खड़ा है, जिसमें पीतल की राड का इस्तेमाल किया गया है।

विधायक बोले- जाे काम जनसहयोग से हुआ, वह सरकार भी नहीं कर पाती
भगवानपुरा के विधायक केदार डावर ने कहा कि बिना इंजीनियरिंग के जनसहयोग से निर्मित यह पुल अद्भुत है। उन्होंने कहा कि ऐसा काम कोई सरकार भी नहीं कर पाती, जो बाबाजी के नेतृत्व में जनसहयोग से संभव हुआ है।

00 फीट लंबा और 15 फीट ऊंचा यह पुल 16 पिलरों पर खड़ा है
मार्कंडेय ऋषि की तपोस्थली
मंदिर समिति के सदस्यों ने बताया कि सतपुड़ा से लगा यह क्षेत्र मार्कंडेय ऋषि की तपोस्थली है और आस्था का प्रमुख केंद्र है। हरिओम बाबा ने गांव-गांव जाकर 600 से अधिक सदस्यों को जोड़ा और इस पुल को ‘शिव सहयोग सेतु’ नाम दिया। अब बाबाजी अगले चरण में कुंदा नदी पर विशाल घाट निर्माण के लिए लोगों को प्रेरित कर रहे हैं।

मार्कंडेय ऋषि की तपोस्थली है क्षेत्र।
बारिश में श्रद्धालुओं को होगी आसानी
पुल के लोकार्पण के मौके पर आयोजित तीन दिवसीय अनुष्ठान में कई साधु-संत शामिल हुए। कार्यक्रम में यशवंत जायसवाल, महेश डावर, चंदरसिंह वास्कले, रूपेश मालवीया, कुंवरसिंह पटेल, गंगाराम बघेल सहित मंदिर समिति के सदस्य उपस्थित रहे। इस पुल के निर्माण से बारिश के पहले श्रद्धालुओं को आवागमन की सुविधा मिल गई है।
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