नागरिकता बेच रहा यह खूबसूरत देश, मिलेगा ऐश की जिंदगी जीने का मौका, बस करना होगा ये काम

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प्रशांत महासागर का खूबसूरत देश नाउरू 1,05,000 डॉलर में नागरिकता बेच रहा है. राष्ट्रपति डेविड अडियांग ने बताया कि समुद्र का जलस्तर बढ़ने से ऊपरी इलाकों में निवासियों को ले जाना जरूरी है.
1990 के दशक में, नाउरू ने टैक्स हेवन बनकर विदेशी निवेशकों और अपराधियों को आकर्षित किया, जिससे सरकार को पैसा मिला.
हाइलाइट्स
- फॉस्फेट भंडार होने की वजह से कभी नाउरू धनी देशों की लिस्ट में हुआ करता था.
- लेकिन नाउरू के फॉस्फेट भंडार खत्म हो गए तो यह आर्थिक संकटों में घिर गया.
- नाउरू ने नागरिकता बेचने की नीति अपनाई ताकि देश आर्थिक संकट से उबारा जा सके.
अगर आप किसी खूबसूरत देश में बसने का सपना आपका भी है, तो एक मौका आपके पास है. प्रशांत महासागर का सबसे छोटा लेकिन बेहद खूबसूरत देश नाउरू अपनी नागरिकता बेच रहा है. कोई भी 1,05,000 डॉलर यानी 91,52,185 चुका कर इस देश की नागरिकता हासिल कर सकता है. सबसे खास बात, यहां आपको ऐश की जिंदगी जीने का मौका मिलेगा. इस द्वीप पर सिर्फ 13,000 लोग रहते हैं, लेकिन चारों ओर से समुद्र से घिरे होने की वजह से यह देश अपने निवासियों को अब ऊपर के इलाकों में लेकर जाना चाहता है. इसके लिए पैसों की जरूरत है. पैसों की कमी को पूरा करने के लिए नाउरू ने यह रास्ता चुना है.
नाउरू के राष्ट्रपति डेविड अडियांग ने बताया कि समुद्र का जलस्तर बढ़ता जा रहा है. कई इलाके डूबने का खतरा है. इसलिए हमें अपने लोगों को ऊपरी इलाकों में लेकर जाना है. इस योजना के तहत हम विदेशी नागरिकों को नाउरू का पासपोर्ट बेचेंगे. हम उन्हें अपने घर में बसाएंगे. हर तरह की सुविधा मुहैया कराएंगे. इसके लिए कोई खास शर्त भी नहीं रखी गई है. हम केवल आने वाली पीढ़ियों के लिए सुनहरा भविष्य बनाना चाहते हैं.
नाउरू के बारे में जानिए
नाउरू एक छोटे से फॉस्फेट चट्टान के पठार पर स्थित है और इसका कुल क्षेत्रफल केवल 21 वर्ग किलोमीटर है, जो इसे दुनिया के सबसे छोटे देशों में से एक बनाता है. एक समय पर शुद्ध फॉस्फेट जमा के कारण नाउरू दुनिया के सबसे धनी स्थानों में से एक था, लेकिन अब ये भंडार समाप्त हो चुके हैं. शोधकर्ताओं का अनुमान है कि नाउरू का 80 प्रतिशत हिस्सा खनन के कारण रहने योग्य नहीं रह गया है. नाउरू के पास बची हुई थोड़ी सी जमीन भी समुद्र के बढ़ते स्तर से खतरे में है. वैज्ञानिकों ने पाया है कि समुद्र का स्तर वैश्विक औसत से 1.5 गुना तेजी से बढ़ रहा है.
गोल्डन पासपोर्ट
नाउरू के आर्थिक और जलवायु स्थिरता नागरिकता कार्यक्रम के प्रमुख एडवर्ड क्लार्क ने कहा कि हम अपने नागरिकों पर और बोझ नहीं डाल सकते. हमें उम्मीद है कि इस कार्यक्रम से पहले साल में 5.7 मिलियन डॉलर की कमाई होगी. धीरे-धीरे यह बढ़कर 43 मिलियन डॉलर तक पहुंच जाएगी. यह देश की कुल आय का लगभग 20 फीसदी होगा. नाउरू के अधिकारियों के मुताबिक, 90 प्रतिशत आबादी को ऊंचे स्थानों पर ले जाना पड़ेगा. इस पर 60 मिलियन डॉलर से अधिक का खर्च होने का अनुमान है.
- फायदे भी बहुत
नाउरू का दावा है कि जो भी उसका पासपोर्ट लेगा, उसे 89 देशों में बिना वीजा जाने की सुविधा मिलेगी. इसमें ब्रिटेन, आयरलैंड, संयुक्त अरब अमीरात और हांगकांग जैसे देश भी शामिल हैं. - नाउरू ही नहीं, वानुअतु, समोआ और टोंगा समेत 60 से अधिक देशों ने अपनी नागरिकता बेचने की कोशिशें की हैं. इनका मकसद सिर्फ सरकार की आय बढ़ाना होता है.
खतरे भी बहुत
- ऑस्ट्रेलियन नेशनल यूनिवर्सिटी की विशेषज्ञ हेनरीटा मैकनील ने कहा, इसके खतरे भी बहुत ज्यादा हैं. अपराधी इन दस्तावेजों का उपयोग कानूनों से बचने, मनी लॉन्डिंग या वीजा-मुक्त प्रवेश नियमों का दुरुपयोग करने के लिए कर सकते हैं.
- 2003 में नाउरू के अधिकारियों ने अल-कायदा के आतंकियों को भी नागरिकता बेच दी थी, जिन्हें बाद में एशिया में गिरफ्तार किया गया था. इस बार नाउरू केवल उन्हीं निवेशकों को पासपोर्ट देगा जो सख्त जांच प्रक्रिया को पास करेंगे.
- 2012 से नाउरू ने ऑस्ट्रेलियाई सरकार से लाखों डॉलर हासिल किए हैं ताकि वे उन प्रवासियों को आश्रय दे सकें जिन्होंने ऑस्ट्रेलिया में शरण मांगी थी. लेकिन इस योजना को धीरे-धीरे कम कर दिया गया क्योंकि इसमें 14 बंदियों की मौत हो गई थी.
New Delhi,New Delhi,Delhi
February 26, 2025, 23:06 IST
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