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नौकरी से खर्च नहीं चला… बहन ने कान की बाली बेची, सड़क किनारे बिजनेस शुरू किया, आज रोज कमा रही 1200 रुपये!

Agency:Local18

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Business Success Story: शिल्पाबेन ने मास्टर्स के बाद 15-16 हजार की नौकरी छोड़कर डिंडोली में लारी का स्टार्टअप शुरू किया. बहन की मदद से पिज्जा-बर्गर बेचकर अब रोज 1000-1200 रुपये कमा रही हैं.

शिल्पाबेन ने स्टार्टअप से आज कमा रही 1200 रुपये रोजाना

हाइलाइट्स

  • शिल्पाबेन ने नौकरी छोड़कर लारी का स्टार्टअप शुरू किया.
  • बहन ने कान की बाली बेचकर स्टार्टअप में मदद की.
  • अब शिल्पाबेन रोज 1000-1200 रुपये कमा रही हैं.

सूरत: ज्यादातर महिला उद्यमी शिक्षा, कपड़े, ब्यूटी जैसे क्षेत्रों तक ही सीमित हैं. आज कई महिलाएं घर बैठे बिजनेस तो जरूर कर रही हैं, लेकिन इस बीच सूरत के डिंडोली इलाके में रहने वाली शिल्पाबेन समाज के लिए एक ऐसा उदाहरण बनी हैं कि उनकी संघर्ष की कहानी लोगों को समझने लायक है. मास्टर्स करने के बाद भी सिर्फ 15-16 हजार की नौकरी मिलना और आज के महंगाई के समय में घर परिवार में आर्थिक रूप से मदद करना, इन दो बातों के बीच उन्होंने अपना छोटा स्टार्टअप शुरू करने का सोचा.

बहन ने कान की बाली बेचकर पैसे दिए थे
हालांकि, शुरुआत में उन्हें इस स्टार्टअप को शुरू करने में कई मुश्किलों का सामना करना पड़ा. शुरुआत में शिल्पाबेन ने अपनी मां और बहन के समर्थन के कारण खुद डिंडोली इलाके की दुकानों में जाकर दुकानदारों से उनकी लारी लगाने की रिक्वेस्ट की और बिजनेस शुरू करने के लिए जरूरी सामान से लेकर हर चीज का पहले रिसर्च किया. इस लारी को शुरू करने के लिए शिल्पाबेन को उनकी बहन ने कान की बाली बेचकर पैसे दिए थे. जिससे वे बहुत मेहनत कर रही हैं ताकि जल्दी से कर्ज उतार सकें और घर की आर्थिक स्थिति सुधार सकें.

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इस बारे में लोकल 18 से बात करते हुए शिल्पा मधुकर नेलकर ने बताया, “मैंने M.Com करने के बाद अकाउंटेंट की नौकरी की थी, लेकिन घर के मुखिया के रूप में मैं और मेरी मां काम कर रहे हैं और परिवार में सदस्य ज्यादा हैं. इसलिए मैंने अपनी मां से कहा कि एक छोटा सा बिजनेस शुरू करते हैं. मेरी बहन ने मुझे जो बनाना ज्यादा पसंद है, उससे ही शुरुआत करने की सलाह दी थी. आज की जनरेशन को पसंद आने वाले पिज्जा और बर्गर जैसी डिश हम यहां बनाते हैं. लारी उठाने और सेट करने में तकलीफ जरूर होती है. लेकिन हमने भी हिम्मत नहीं हारी, हम किसी से कम नहीं हैं. इसलिए मैं और मेरी बहन की बेटी मिलकर लारी सेट करते हैं.”

रोज 1000 से 1200 रुपये मिलते हैं
उन्होंने आगे बताया, “पहले मेरी एक महीने की सैलरी 15,000 थी, उस हिसाब से प्रतिदिन मुझे 500 रुपये मिलते थे. जबकि अब रोज 1000 से 1200 रुपये मिलते हैं. आगे के दिनों में और ज्यादा कमाई कर सकेंगे क्योंकि हमारी हर चीज घर पर ही तैयार होती है और स्पेशल इंग्रीडिएंट मेरी मां का बनाया हुआ मसाला है.”

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नौकरी से खर्च नहीं चला…सड़क किनारे बिजनेस शुरू किया, आज रोज कमा रही 1200 रुपये


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एडवोकेट अरविन्द जैन

संपादक, बुंदेलखंड समाचार अधिमान्य पत्रकार मध्यप्रदेश शासन

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