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Agency:News18 Uttar Pradesh
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रामकृपाल चौधरी, बस्ती जिले के छोटे गांव से, कन्नौज के मुख्य विकास अधिकारी बने. गरीबी और पारिवारिक संकटों के बावजूद, उन्होंने शिक्षा के माध्यम से सफलता पाई और युवाओं के लिए प्रेरणा बने.
CDO रामकृपाल चौधरी.
हाइलाइट्स
- रामकृपाल चौधरी बने कन्नौज के मुख्य विकास अधिकारी.
- गरीबी और संकटों के बावजूद शिक्षा से पाई सफलता.
- युवाओं के लिए प्रेरणा बने रामकृपाल चौधरी.
कन्नौज: यूपी के कन्नौज जिले के मुख्य विकास अधिकारी रामकृपाल चौधरी की कहानी उन युवाओं के लिए एक प्रेरणा है, जो जीवन की मुश्किलों के सामने हार मान लेते हैं. बस्ती जिले के एक छोटे से गांव के रहने वाले रामकृपाल ने न केवल अपने कठिन हालातों को चुनौती दी, बल्कि एक ऐसी मंजिल भी हासिल की, जो कई लोगों के लिए सिर्फ सपना हो सकती है. गरीबी और परिवारिक संकट के बावजूद, उन्होंने शिक्षा के माध्यम से सफलता की नई ऊँचाइयों को छुआ और आज युवाओं के लिए एक मिसाल बन गए हैं.
खेती से अफसरी तक का सफर
बस्ती जिले के एक छोटे से गांव से ताल्लुक रखने वाले रामकृपाल चौधरी ने कभी सोचा भी नहीं था कि वह एक दिन अफसर बनेंगे. कम उम्र में ही माँ का साया सर से उठ गया और पिता धार्मिक होकर घर से बाहर चले गए. घर की जिम्मेदारियां होने के बावजूद रामकृपाल ने अपनी पढ़ाई नहीं छोड़ी.
गांव के सरकारी स्कूल से पढ़ाई शुरू हुई तो कई किलोमीटर पैदल और साइकिल से जाना पड़ता था. कभी-कभी तो पढ़ाई के लिए धान तक बेचना पड़ता था. लेकिन रामकृपाल के हौसले बुलंद थे, कुछ कर गुजरने का जुनून था.
बाबा की बात ने बदली जिंदगी
एक दिन खेत में काम करते वक्त उनके बाबा ने कहा, “कुछ करने की सोचो, क्या सारी जिंदगी ऐसे ही बिताओगे?” बस फिर क्या था, बाबा की इस बात ने रामकृपाल को झकझोर कर रख दिया.
रामकृपाल को यह भी नहीं पता था कि अफसर बनने के लिए क्या पढ़ाई करनी होती है. ऐसे में उन्होंने अपने एक दोस्त से मदद ली जो इलाहाबाद में प्रतियोगी परीक्षाओं की तैयारी कर रहा था.
पहले ही प्रयास में बने अफसर
शुरू में तो शहर का माहौल देखकर घबराहट हुई लेकिन दोस्त ने हौसला दिया और रामकृपाल ने भी पूरी शिद्दत से पढ़ाई शुरू कर दी. कड़ी मेहनत और लगन के दम पर उन्होंने पहले ही प्रयास में पीसीएस की परीक्षा पास कर ली.
सफलता का मूलमंत्र है एकाग्रता
आज रामकृपाल कन्नौज में मुख्य विकास अधिकारी के पद पर हैं और युवाओं के लिए एक मिसाल हैं. उनका मानना है कि सफलता का मूलमंत्र एकाग्रता है. मोबाइल और दूसरी चीजों से दूर रहकर अगर आप सिर्फ पढ़ाई पर ध्यान दें तो सफलता जरूर मिलेगी.
Kannauj,Uttar Pradesh
February 23, 2025, 22:07 IST
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