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विदिशा में आज (1 जुलाई) कृषि उपज मंडी में नीलामी नहीं होने से परेशान किसानों ने सागर रोड पर चक्का जाम कर दिया। व्यापारियों और हम्माल के विवाद के चलते मंडी में नीलामी बंद थी। एसडीएम की समझाइश के बाद मंडी में नीलामी कर शुरू हो पाया। दो दिन की छुट्टी के
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जहां पर नीलामी कर चल रहा था अचानक से नीलामी बंद हो गई। जिससे किसान भड़क गए। किसानों ने मिलकर मंडी के बाहर सड़क पर जाम लगा दिया। किसानों के हंगामा और चक्कर जाम की जानकारी लगते ही सिविल लाइन पुलिस मौके पर पहुंची और किसानों को चक्कर जाम खत्म करने की समझाइएश पर किसान मंडी में नीलामी चालू करवाने की मांग पर डटे रहे।
कृषक डॉक्टर राजेंद्र सिंह का कहना था कि बारिश के मौसम में अगर मंडी को बंद रखता था तो पहले ही इसकी सूचना देना चाहिए थी। किसान दूर-दूर से अपनी उपज बेचने के लिए मंडी आए हैं। मंडी में नीलामी नहीं होने से किसान परेशान हो रहे है। बारिश में उपज गीली हो जाएगी तो उसके खराब होने का खतरा लगा रहता है। व्यापारियों और हम्मालो के बीच विवाद के कारण किसान परेशान हो रहे है ।
इस पूरे मामले को लेकर अनाज तिलहन व्यापार महासंघ के अध्यक्ष राधे श्याम माहेश्वरी ने बताया कि शनिवार को व्यापारी विमल के ऊपर एक मजदूर ने लोहे का आंकड़ा पीठ में मार कर उसे घायल किया था , इस बात की शिकायत हमने कोतवाली में की थी।
इस बात को लेकर सभी सम्मान आज हंगामा कर रहे हैं। FIR को वापस लेने का दबाव बना रहे हैं। जो घटनाक्रम व्यापारी के साथ हुआ है। वह दोबारा न हो इसके लिए असामाजिक तत्वों को मंडी में हम्मली के लिए न रखा जाए ।
किसानों के हंगामा और चक्का जाम की जानकारी लगते ही एसडीएम क्षितिज शर्मा मौके पर पहुंचे तो पता चला कि व्यापारियों और हम्मालो के बीच हुए विवाद के कारण मंडी में नीलामी नही हो रही हैं। एसडीएम ने दोनो पक्षों से बातचीत की ओर समझाइश दी ।
एसडीएम का कहना था कि 2 साल पूरे होने के बाद हम्मालो और व्यापारियों के बीच के अनुबंध के अनुसार 15 फीसदी राशि मजदूरी की बढ़ाई जानी थी। इसके साथ ही अन्य छोटे छोटे विषय है। जिनको लेकर चर्चा करके उसे हल किया जाएगा। एसडीएम की समझाइएश के काफी समय बाद मंडी में नीलामी कार्य शुरू हो पाया।



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