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जंगल में पैरों के निशान तलाशते वन अधिकारी।
– फोटो : Amar Ujala Digital
विस्तार
दमोह जिले के मडियादो का जंगल पन्ना टाइगर रिजर्व का हिस्सा है। इसी के वफरक्षेत्र में मडियादो से सटे जंगल में तीन से अधिक बाघ घूम रहे हैं। बाघ के होने की पुष्टि होने के बाद रिजर्व प्रबंधन अलर्ट मोड पर है और बाघ निगरानी सुरक्षा में जुट गया है।
जानकारी के अनुसार पिछले एक सप्ताह से चार बाघ मडियादो के जंगल में अपना बसेरा बनाए हुए हैं, जिनके पद चिह्न और देखे जाने की पुष्टि के बाद विभाग अस्थाई कैंप, निगरानी दल सहित ट्रैकिंग में जुट गया है। इसके अलावा प्रबंधन द्वारा वनांचल के गांव में जंगल में बाघ होने की सूचना के साथ सुरक्षा बरतने की अपील की जा रही है।
वहीं वाफरक्षेत्र प्रबंधन के जंगल में अनाधिकृत रूप से फैले करंट वायर, फंदे आदि भी हटाए जा रहे हैं।
इन तैयारियों में जुटा वन अमला
मडियादो के जंगल में तीन से अधिक बाघ होने की सूचना वायरल होने और पद चिह्न मिलने के बाद वफरक्षेत्र प्रबंधन ने सूचना ट्रैक टीम बनाई, जो सूचना मिलने पर संबंधित क्षेत्र में पहुंचकर टाइगर भ्रमण पथ पर दुर्घटना न हो या व्यवधान हटाने का कार्य करेगी। टाइगर जिन स्थलों पर ज्यादा भ्रमण कर रहा या रुक रहा है, वहां अस्थायी कैंप बनाए जा रहे हैं। वफरक्षेत्र प्रबंधन द्वारा सुरक्षा श्रमिकों की संख्या बढ़ाई जा रही है। इसके अलावा टाइगर कोरीडोर में वन अमले द्वारा प्रति सप्ताह 4 दिवस गश्त ड्यूटी लगाई गई है।
फंदे और करंट वायर हटाए
तीन से अधिक बाघ की पुष्टि जंगल में होने के बाद टाइगर पथ भ्रमण से जुड़े जंगल में सर्च अभियान चलाया गया। इस दौरान वनकर्मियो द्वारा वन्य जीव से सुरक्षा के लिए खेतों में लगाए गए अनाधिकृत फंदे, करंट वाले खुले वायर हटाए गए। इसके अलावा किसानों से जोड़ या खुले वायर को प्लास्टिक टेप से कवर करने की हिदायत भी दी गई।
बाघ सरक्षित जंगल से दूर रहे
एच एच भार्गव परिक्षेत्र अधिकारी ने बताया कि बफरक्षेत्र प्रबंधन द्वारा करिवारा, पाटन, चौरईया सहित अन्य गांव में सामूहिक रूप से टाइगर के पद चिह्नों की पहचान करना सिखाकर अपील की है कि यदि पद चिह्न मिलते हैं या कोई गतिविधि समझ में आती है तो उस स्थल से दूर चले जाएं और वनकर्मियों को सूचना दें। इसके अलावा वफरक्षेत्र प्रबंधन द्वारा करंट वायर, फंदे हटाने की अपील वनांचल के लोगों से की गई है।
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