मध्यप्रदेश

A student committed suicide by hanging herself in Gwalior | ग्वालियर में छात्रा ने फांसी लगाकर दी जान: पिता गुजरात में, मां को इलाज के लिए फरीदाबाद ले गया था भाई, घर में अकेली थी छात्रा – Gwalior News

ग्वालियर में 15 वर्षीय छात्रा पलक ने फांसी लगाकर खुदकुशी कर ली है। घटना के समय छात्रा घर में अकेली थी। उसके पिता श्याम सुंदर राजावत रिटायर आर्मी मैन हैं और सूरत गुजरात में निजी कंपनी में जॉब करते हैं, जबकि मां शोभा सिंह को इलाज के लिए भाई हर्ष सिंह र

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घटना का पता उस समय चला जब छात्रा की मौसेरी बहन उससे मिलने के लिए घर पहुंची। घटना की सूचना तत्काल पुलिस को दी गई। पुलिस ने मौके पर पहुंचकर शव को निगरानी में लेकर पोस्टमार्टम कराया है। छात्रा ने यह कदम क्यों उठाया फिलहाल पता नहीं चल सका है। पुलिस मामले की जांच कर रही है। पलक 10वीं की छात्रा थी। वह पढ़ाई में काफी अच्छी थी। वह मां और भाई के साथ यहां रहती थी। एक दिन पहले ही भाई इलाज के लिए मां को फरीदाबाद लेकर गया है। पलक घर पर अकेली थी।

थाना प्रभारी हरेन्द्र शर्मा का कहना है कि-​​​​​​​

एक छात्रा ने फांसी लगाकर जान दी है। अभी आत्महत्या के कारण का खुलासा नहीं हुआ है। जांच की जा रही है, जांच में जो तथ्य सामने आएंगे उसके आधार पर कार्रवाई की जाएगी।

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शाम तक वह ठीक ठाक देखी गई, पर उसके बाद उसने किसी बात पर तनाव में आकर फांसी लगाकर खुदकुशी कर ली। जब रविवार को उसकी मौसी की बेटी उससे मिलने पहुंची तो मुख्य दरवाजा खुला हुआ था। अंदर जाकर देखा तो पलक फांसी पर लटकी हुई थी। पलक का शव देखकर उसकी चीख निकल गई। शोर सुनकर आसपास के लोग पहुंचे और छात्रा को बचाने का प्रयास किया, लेकिन तब तक काफी देर हो चुकी थी। सूचना मिलते ही थाना प्रभारी सहित सभी अफसर मौके पर पहुंचे और जांच के बाद मर्ग कायम कर लिया है। पुलिस को नहीं मिला कोई सुसाइड नोट पुलिस ने मृतका के कमरे की तलाशी ली पर वहां से कोई सुसाइड नोट नहीं मिला है। पुलिस ने आसपास भी पूछताछ की है, लेकिन कोई भी लीड नहीं मिली है कि छात्रा ने यह कदम क्यों उठाया। सूचना मिलते ही छात्रा के परिजन ग्वालियर आ गए हैं। पुलिस ने पोस्टमार्टम कराकर शव उनके सुपुर्द कर दिया है। साधारण मोबाइल का करती थी उपयोग पुलिस को घटनास्थल पर शव के पास से की-पेड वाला एक साधारण मोबाइल मिला है। छात्रा एंड्रायड मोबाइल फोन नहीं चलाती थी। पुलिस ने मोबाइल को निगरानी में लिया है। मोबाइल की जांच से पता चल सके कि आखिरी बार उसने किससे बात की थी।


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एडवोकेट अरविन्द जैन

संपादक, बुंदेलखंड समाचार अधिमान्य पत्रकार मध्यप्रदेश शासन

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