मध्यप्रदेश

The son got the body of his father buried in the ground taken out | बेटे ने जमीन में दफन पिता का शव निकलवाया: मृतक का भाई से हुआ था विवाद, बेटा बोला-हार्ट अटैक से नहीं हुई मौत, हत्या की गई – Jabalpur News

एक युवक ने 30 दिन बाद अपने पिता का शव जमीन से बाहर निकलवाया है, वजह यह थी कि युवक को आशंका है कि उसके पिता की हार्ट अटैक से मौत नहीं बल्कि हत्या की गई है। युवक की शिकायत पर कुंडम थाना पुलिस ने एसडीएम से अनुमति लेने के बाद शव को बाहर निकलवाया और पीएम

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पोस्टमार्टम रिपोर्ट के बाद ही यह स्पष्ट होगा कि शख्स की मौत हार्ट अटैक से हुई थी, या फिर उसकी हत्या की गई है। मामला कु़ंडम थाना के मेहगांव पौड़ी का है, जहां पर 30 दिन पहले एक शख्स की मौत के बाद उसके शव को परिवार वाले और ग्रामीणों की उपस्थिति पर जमीन में दफना दिया था।

दरअसल मेहगांव निवासी भूरा सिंह (55) का अपने छोटे भाई भाग राम सिंह (51) के साथ घर के बाहर बाड़ी लगाने को लेकर 6 मार्च को विवाद हुआ था। बहस के दौरान बड़े भाई तेज सिंह ने दोनों भाई को अलग करवाया। कुछ ही देर बाद फिर से भूरा सिंह और भाग राम का विवाद होने लगा। विवाद के थोड़ी देर बाद घर के बाहर भूरा सिंह जमीन पर पड़ा हुआ मिला। बड़े भाई तेज सिंह ने तुरंत ही गांव के लोगों को बुलाया, लेकिन तब तक भूरा सिंह की मौत हो चुकी थी।

तेज सिंह का कहना है, कि घर के सामने बाड़ी को लेकर विवाद हुआ था। भूरा सिंह जहां उसे बाड़ी में मकान बनवाना चाह रहा था, तो वही भाग राम सिंह का कहना था कि इस जमीन पर उसका हक है, इसी को लेकर दोनों भाइयों के बीच विवाद हुआ था। 6 मार्च को भूरा सिंह की मौत के बाद गांव वालों ने उसकी पत्नी की मौजूदगी में शव को जमीन में दफना दिया।

इसके बाद तेज सिंह ने भूरा सिंह के बेटे मनोज सिंह को पिता की मौत की जानकारी दी। 10 दिन बाद गुजरात से वापस कुंडम लौटे मनोज सिंह ने जब गांव वालों से अपने पिता की मौत को लेकर जानकारी जुटाई, तो पता चला की घटना वाले दिन उसके चाचा भाग राम सिंह के साथ पिता भूरा सिंह का विवाद हुआ था। मनोज सिंह ने आशंका जताई है कि उसके पिता की मौत हार्ट अटैक से नहीं बल्कि चाचा भाग राम सिंह के मारने पर हुई है।

8 अप्रैल को मनोज सिंह ने कुंडम थाने में जाकर इस पूरे मामले की शिकायत दर्ज कराई। मनोज सिंह ने लिखित में शिकायत देते हुए अपने चाचा भाग राम सिंह को पिता भूरा सिंह की मौत का जिम्मेदार ठहराया है। मनोज सिंह का कहना है कि उसके पिता कभी बीमार नहीं रहे हैं, ऐसे में अचानक ही उन्हें हार्ट अटैक नहीं आ सकता है। निश्चित रूप से उनकी हत्या की गई है। मनोज सिंह की शिकायत के बाद पुलिस ने एसडीएम से जमीन में दफनाए गए शव को बाहर निकलवाने की अनुमति मांगी थी।

बुधवार को पुलिस और प्रशासनिक अधिकारियों की मौजूदगी में मेहगांव पौड़ी गांव की जमीन से मृत भूरा सिंह के शव को बाहर निकलवाया गया है। जबलपुर मेडिकल कॉलेज में भूरा सिंह का पीएम कराया जा रहा है। कुंडम थाना प्रभारी अनूप नामदेव का कहना है कि पीएम रिपोर्ट के बाद ही यह स्पष्ट हो पाएगा कि भूरा सिंह की मौत हार्ट अटैक से हुई है या फिर किसी ने उसकी हत्या की है। फिलहाल पुलिस अभी इस पूरे मामले की जांच में जुटी हुई है


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एडवोकेट अरविन्द जैन

संपादक, बुंदेलखंड समाचार अधिमान्य पत्रकार मध्यप्रदेश शासन

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