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फडणवीस के नहले पर शरद पवार का दहला, पर महाराष्‍ट्र के सियासी शतरंज का असली खिलाड़ी कौन? उद्धव-शिंदे का क्‍या रोल? – chief minister devendra fadnavis sharad pawar politics eknath shinde uddhav thackeray tussle

Agency:पीटीआई

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Maharashtra Politics: महाराष्‍ट्र की राजनीति में इन दिनों के पर्दे के पीछे का खेल चल रहा है. दिलचस्‍प बात यह है कि इसके डायरेक्‍टर ही इसके एक्‍टर भी हैं. महायुति और महाविका अघाड़ी में सियासत चरम पर है.

महाराष्‍ट्र की राजनीति में सियासी चक्रव्‍यूह की रचना की जा रही है.

हाइलाइट्स

  • महाराष्‍ट्र में सत्‍तारूढ़ महायुति और MVA में खींचतान का खेल जारी है
  • एक खेमे के नेता दूसरे गुट के लीडर को अपनी तरफ करने की तैयारी में
  • फडणवीस से मिले उद्धव तो शरद पवार ने किया एकनथ शिंदे को सम्‍मानित

मुंबई. महाराष्‍ट्र की राजनीति में लगातार सियासी खिचड़ी पक रही है. कौन किधर जएगा इसको लेकर कयासबाजियों का दौर शुरू हो चुका है. शरद पवार ने महाराष्ट्र के उपमुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे की तारीफ की है तो दूसरी तरफ शिवसेना (UBT) नेताओं की मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस से मुलाकात ने राजनीतिक हलचल बढ़ा दी ह. एक के बाद एक घट रहे घटनाक्रम को देखते हुए ऐसा लगता है कि राज्य की राजनीति विपक्षी गठबंधन महाविकास अघाड़ी (एमवीए) और सत्तारूढ़ गठबंधन महायुति के घटक दलों के बीच उलटफेर की ओर बढ़ती दिख रही है. एमवीए और महायुति ने महाराष्ट्र विधानसभा चुनाव में डटकर एक-दूसरे का मुकाबला किया था, लेकिन मुश्किल से तीन महीने भी नहीं बीते हैं कि दोनों गठबंधनों में मतभेद उभर आए हैं.

महाराष्‍ट्र विधानसभा चुनाव में भाजपा के नेतृत्व वाले महायुति ने 288 में से 230 सीटों पर कब्‍जा जमाकर जोरदार जीत हासिल की थी. पिछले साल लोकसभा और विधानसभा चुनावों के बाद अब मुंबई, पुणे और ठाणे समेत नगर निकाय चुनाव भी बड़े दांव वाली लड़ाई होंगे, जिसके लिए राज्य में पार्टियां कमर कस रही हैं. हाल में शिवसेना (UBT) के नेताओं ने पिछले ढाई महीने में कम से कम तीन बार मुख्यमंत्री फडणवीस से भेंट की है. मुख्यमंत्री से आदित्य ठाकरे ने दो बार, उद्धव ने एक बार मुलाकात की है. शिवसेना (UBT) के अन्य सीनियर लीडर्स ने भी फडणवीस से अलग से भेंट की है. इससे पहले ठाकरे की पार्टी के नेताओं ने फडणवीस की तीखी आलोचना की थी और उन पर शिंदे के जरिए साल 2022 में अविभाजित शिवसेना में विभाजन की साजिश रचने का आरोप लगाया था.

सीएम फडणवीस और राज ठाकरे की मुलाकात
फरवरी के शुरुआत में फडणवीस ने महाराष्ट्र नवनिर्माण सेना (मनसे) के अध्यक्ष राज ठाकरे से भी मुलाकात की थी, जिससे भाजपा और मनसे के बीच गठबंधन की चर्चा तेज हो गई थी. राजनीतिक विश्लेषक अभय देशपांडे ने दावा किया कि दोनों गठबंधनों की पार्टियां खासकर स्थानीय निकाय चुनावों से पहले दश्मनों के साथ नजदीकियां बढ़ा रही हैं, क्योंकि स्थानीय चुनाव एक मिनी असेंबली इलेक्‍शन की तरह होगा. देशपांडे ने आगे कहा, ‘वे सभी चीजों का आकलन कर रहे हैं. इस घटनाक्रम को हावभाव के रूप में देखा जाना चाहिए और इससे कुछ भी बड़ा होने की उम्मीद नहीं है. वे अपने भागीदारों को यह बताने की कोशिश कर रहे हैं कि सभी विकल्प खत्म नहीं हुए हैं.’

महायुति में मनमुटाव की वजह
विपक्ष सत्तारूढ़ महायुति में फडणवीस और शिवसेना प्रमुख शिंदे के बीच मनमुटाव का दावा करता है. फडणवीस और शिंदे की भूमिकाएं साल 2024 के विधानसभा चुनाव के बाद बदल गई हैं. पहले शिंदे मुख्यमंत्री थे और फडणवीस उपमुख्यमंत्री, लेकिन अब फडणवीस मुख्यमंत्री हैं और शिंदे उपमुख्यमंत्री. भाजपा और शिवसेना के अलावा अजीत पवार की अध्यक्षता वाली राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी (एनसीपी) महायुति का तीसरा घटक दल है. स्पष्ट नजर आ रहे विवाद का ताजा कारण प्रभारी मंत्रियों की नियुक्ति है. भाजपा के गिरीश महाजन और एनसीपी नेता अदिति तटकरे को नासिक और रायगढ़ जिलों का प्रभारी मंत्री बनाया गया है. इस लिस्‍ट में शिवसेना के मंत्री दादाजी भुसे और भरत गोगावाले का नाम नहीं था. नासिक और रायगढ़ के लिए प्रभारी मंत्रियों की नियुक्ति पर बाद में रोक लगा दी गई, क्योंकि शिवसेना ने इस पर नाराजगी व्यक्त की थी.

MVA में भी दरारें
हालांकि, कांग्रेस, एनसीपी (एसपी) और शिवसेना (UBT) वाले एमवीए में भी समस्याएं कम नहीं हैं. यह ऐसे समय में हुआ है जब एमवीए के नेता खास तौर पर उद्धव ठाकरे की शिवसेना (UBT) के कई नेता शिंदे के नेतृत्व वाली शिवसेना में शामिल हो गए हैं. बुधवार को शिवसेना (UBT) नेता संजय राउत ने नई दिल्ली में शिंदे को सम्मानित करने और मराठा योद्धा महादजी शिंदे के नाम पर स्थापित पुरस्कार से उन्हें सम्मानित करने के लिए एनसीपी (एसपी) प्रमुख शरद पवार की आलोचना की. शरद पवार ने शिंदे की प्रशंसा भी की, जिससे नाराज शिवसेना (UBT) ने इसे एक विश्वासघाती को सम्मानित करने जैसा बताया.

आदित्‍य ठाकरे का दिल्‍ली दौरा
शरद पवार द्वारा एकनाथ शिंदे को सम्मानित किए जाने के दो दिन बाद दिल्ली की अपनी यात्रा के दौरान शिवसेना (UBT) नेता आदित्य ठाकरे ने कांग्रेस सांसद राहुल गांधी और आम आदमी पार्टी (आप) के राष्ट्रीय संयोजक अरविंद केजरीवाल से मुलाकात की. आदित्य ठाकरे ने एनीपी (एसपी) प्रमुख से भेंट नहीं की. शिवसेना (UBT) के कई नेताओं ने खुले तौर पर सुझाव दिया है कि पार्टी को अकेले ही अपनी राह तय करनी चाहिए.

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CM फडणवीस के नहले पर शरद पवार का दहला, पर उद्धव-शिंदे का क्‍या रोल?


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एडवोकेट अरविन्द जैन

संपादक, बुंदेलखंड समाचार अधिमान्य पत्रकार मध्यप्रदेश शासन

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