मध्यप्रदेश

Farmers are not interested in taking NPK fertilizer | NPK खाद लेने में किसानों की रुचि नहीं: खाली पड़े वितरण केंद्र; किसान DAP का कर रहे इंतजार – Guna News


एमपी एग्रो का वितरण केंद्र खाली पड़ा हुआ है।

जिले में NPK खाद की एक रैक आ चुकी है, लेकिन इसे लेने में किसानों की रुचि नहीं है। किसान DAP खाद आने का इंतजार कर रहे हैं। इस समय जिले में DAP उपलब्ध नहीं है। वितरण केंद्रों पर NPK है, लेकिन वह खाली पड़े हुए हैं। 18 अक्टूबर को DAP की रैक आने की संभावन

.

उपसंचालक किसान कल्याण व कृषि विकास के मुताबिक HURL कंपनी की जिले को एनपीके की 1 रेक के माध्‍यम से1013 मैट्रिक टन उर्वरक प्राप्‍त हो गया हैं। इसमें से शासकीय क्षेत्र को कुल 610 मैट्रिक टन NPK मिला है। मार्कफेड डबल लॉक केन्‍द्र गुना को 105.50, राघौगढ़ को 125, आरोन को 100, एमपी एग्रो गुना को 30 मैट्रिक टन खाद मिला है।

इसी तरह 12 सहकारी समितियों सेवा सहकारी समिति विशनवाड़ा-25, गड़ला उजारी-25, मगरोड़़ा-25, फतेहगढ़-25, रामपुर कालोनी-25, परवाह-25, मावन-22.5, पनवाड़ी हाट-25, डगराई-25, रामपुर आरोन-25 मैट्रिक टन NPK पहुंच चुका है। निजी उर्वरक विक्रेताओ को मेसर्स दौलतराम कुंदन सिंह गुना-30, न्‍यू बाबा ट्रेडर्स गुना-5, मेसर्स लाला एग्रो सेल्‍स गुना-5, कैला देवी कृषि सेवा केन्‍द्र गुना-5, अभिषेक एग्रो सेल्‍स गुना-5, संगम कृषि सेवा केन्‍द्र गुना-14, गणेश पेस्‍टीसाईड फतेहगढ़-20, अम्‍बानी ट्रेडर्स फतेहगढ़-10, राहुल ट्रेडिंग कंपनी आरेान-15.50, एसकेसेल्‍स-15.50, महाकाल कृषि सेवा केन्‍द्र गुना-25 और निहाल देवी बिल्डिंग मटेरियल ऊमरी-25 मैट्रिक टन खाद प्राप्‍त हुआ हैं।

उप संचालक कृषि ने जिले के किसानों से से अपील की है कि एनपीके शासकीय दर 1200 रुपए प्रति बैग के मान से अपनी आवश्‍यकता अनुसार खाद ले सकते हैं। अधिक दाम पर उर्वरक विक्रय करते पाये जाने पर जिले के उप संचालक किसान कल्‍याण तथा कृषि विकास जिला-गुना के मोबाइल नंबर या नजदीकी कृषि विभाग के कार्यालय में तत्‍काल सूचित करें, जिससे संबंधितों के विरूद्ध नियमानुसार वैधानिक कार्यवाही की जा सके।

NPK लेने में किसानों की नहीं रुचि

जिले में खाद जरूर आ गया है, लेकिन किसानों की रुचि इसे लेने में नहीं है। किसान DAP का ही इंतजार कर रहे हैं। विक्रय केंद्रों पर किसान नहीं पहुंच रहे हैं और केंद्र खाली पड़े हुए हैं। किसानों ने बताया कि DAP ज्यादा बेहतर होता है और ज्यादा उत्पादन देता है। इस वजह से NPK लेने में किसानों की रुचि नहीं है।


Source link

एडवोकेट अरविन्द जैन

संपादक, बुंदेलखंड समाचार अधिमान्य पत्रकार मध्यप्रदेश शासन

Related Articles

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Back to top button
error: Content is protected !!