मध्यप्रदेश

Survey of properties of 66 wards was to be done in 24 months, 15 months have passed and work has been done in only 4 wards | 24 माह में 66 वार्डों की संपत्तियों का होना था सर्वे,15 महीने बीते अभी सिर्फ 4 वार्डों में ही हो पाया काम – Gwalior News

नगरीय क्षेत्र के 66 वार्डों में बनी बिल्डिंग्स का ग्लोबल इंफॉर्मेशन सिस्टम (जीआईएस) सर्वे चार वार्डों तक ही सिमट कर रह गया है। दो साल के तय वक्त में 15 महीने बीत चुके है। अभी 64 वार्डों में काम होना रह गया है। पिछले दिनों मुख्यालय भोपाल और फिर निगम आ

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उन्होंने हाल में सैंट्रा सर्विस एंड सॉल्यूशन कंपनी को कड़ा पत्र लिख भेजा है। उनसे सर्वे के लिए टीम बढ़ाने और वर्क प्लान मांगा गया है। चेतावनी भी दी गई है कि यदि दोनों बातों पर अमल नहीं हुआ, तो जुर्माना लगाया जाएगा। यहां बताना जरूरी होगा कि अभी तक कंपनी ने चार वार्डों में 20 का स्टाफ लगाया है। जबकि 150 कर्मचारियों से ज्यादा का स्टाफ चाहिए। तभी शहर की बिल्डिंग्स की सच्चाई सामने आ सकेंगी। अभी चार वार्डों के सर्वे में 1668 बिल्डिंग्स (प्रापर्टी) ज्यादा मिली है। इनसे बिल्डिंग्स के डिजिटल रिकार्ड में बढ़ोत्तरी होने से निगम का राजस्व बढ़ा मिलेगा।

​नगर निगम ने डोर-टू-डोर बि​ल्डिंग्स का सर्वे जून 2023 में शुरू किया था। मल्टीपल हाउस होल्ड के जीआईएस सर्वे के लिए सेटेलाइट से इमेज लेकर बिल्डिंग्स को मौके पर देखा जा रहा है। ये काम 14 जुलाई 23 से वार्ड 30 में शुरू किया गया था। यहां महलगांव में सर्वे करने में टीम को दिक्कत आ रही है। क्योंकि स्थानीय लोग सर्वे के बारे में मदद नहीं कर रहे हैं।

प्रॉपर्टी 3.15 लाख, सर्वे 44 हजार का

नगर निगम के रिकार्ड में प्रापर्टी 3.15 लाख है। उन सभी के सर्वे के अलावा नई संपत्तियों का सर्वे भी होना है। लेकिन कंपनी के काम की गति धीमी और समय पर भुगतान नहीं होने से सिर्फ 44411 संपत्तियों का सर्वे हो सका है। उनमें से 1668 संपत्तियां ज्यादा मिली है। ये रिकार्ड में शामिल ही नहीं थीं।

सर्वे में मिल रहीं डुप्लीकेट आईडी

भले ही सर्वे की गति धीमी है। इस दौरान ​प्रापर्टीज की डुप्लीकेट आईडी भी सामने आ रही है। अभी तक के सर्वे के दौरान 1700 से ज्यादा डुप्लीकेट आईडी सामने आई है। सबसे ज्यादा वार्ड 30 में 1100 बताई है। वार्ड 24 में 505, वार्ड 18 में 98 आईडी डुप्लीकेट सामने आई है। अब निगम इनको ई-नगर पालिका से हटाने का काम करेगा।

एजेंसी को पत्र दिया है, जल्दी कराएंगे काम

^नगर निगम बिल्डिंग्स का जीआईएस सर्वे कर रही है। पायलट प्रोजेक्ट के तहत कुछ वार्ड दिए है। अब कंपनी को पत्र भेजकर कहा है कि टीम की संख्या बढ़ाएं। इसके साथ ही इनके काम का कैलेंडर बना है। कर संग्रहकों को निर्देश दिए हैं कि वे सर्वे टीम को जरुरी रिकार्ड उपलब्ध कराए। -विजय राज, अपर आयुक्त ननि

सर्वे के बाद वेरिफिकेशन में देर: पिछले दिन आयुक्त अमन वैष्णव ने एक आदेश निकाला था। उसमें संपत्तिकर अधिकारी, सहायक संपत्तिकर अधिकारी और कर संग्रहकों जिम्मेदारी दी गई। सभी में वार्ड की संपत्तियां भी बता दी गई थीं। सर्वे का सैंपल चेक हर रोज होना है। इसकी गति भी कम बताई जा रही है। जहां पर प्रापर्टी बढ़ी मिलती है, तो उसके मालिक को सूचना दी जाएगी। कोई आपत्ति नहीं आती है, तो ई-नगर पालिका में उक्त क्षेत्र को अपडेट कर बढ़ाया जाएगा।


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एडवोकेट अरविन्द जैन

संपादक, बुंदेलखंड समाचार अधिमान्य पत्रकार मध्यप्रदेश शासन

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