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सेकंड वर्ल्ड वॉर के समय से जमीन के अंदर छिपा था ‘दैत्य’, बंद करना पड़ा जापान का एयरपोर्ट, 90 फ्लाइट्स कैंसिल

टोकियो. जापान के एक एयरपोर्ट को अचानक से बंद करना पड़ गया. ऐसा इसलिए नहीं हुआ क्योंकि वहां ज्यादा भीड़ हो गई, किसी तरह का कोई हादसा हो गया या फिर एयरपोर्ट पर कोई तकनीकी खामी आ गई. ये किया गया वहां अमेरिका का एक भारी बम मिलने की वजह से, जिसे दूसरे विश्व युद्ध के समय का बताया जा रहा है. इस बम में अचानक से विस्फोट हो गया, जिससे एयरपोर्ट पर अफरा-तफरी का माहौल बन गया.

बताया जा रहा है इस अमेरिकी बम को द्वितीय विश्व युद्ध के दौरान यहां गिराया गया था. बुधवार को दक्षिणी जापानी द्वीप क्यूशू में मियाज़ाकी हवाई अड्डे के रनवे के पास दफनाए गए अमेरिकी बम में विस्फोट हुआ. विस्फोट के कारण रनवे को काफी नुकसान पहुंचा, जिससे उस दिन के लिए निर्धारित सभी 87 उड़ानें रोक दी गईं.

परिवहन और पर्यटन मंत्रालय के एक अधिकारी ने बताया कि मियाज़ाकी, जिसका उपयोग “कामिकेज़” पायलटों के लिए बेस के रूप में किया जाता था, ने बुधवार को तड़के अपना रनवे बंद कर दिया क्योंकि विस्फोट के कारण टैक्सीवे के बीच में सात मीटर (23 फीट) चौड़ा और एक मीटर (3.2 फीट) गहरा गड्ढा हो गया था.

अधिकारी ने बताया कि जापान ग्राउंड सेल्फ डिफेंस फोर्स की एक बम डिस्पॉजल टीम ने बाद में पाया कि विस्फोट का कारण एक अमेरिकी बम था जिसे जमीन की सतह के नीचे दबा दिया गया था, जो संभवतः युद्ध के समय हवाई हमले का था।

स्थानीय प्रसारक एमआरटी के अनुसार, किसी के घायल होने की सूचना नहीं है, लेकिन लाइव कैमरा फुटेज से पता चलता है कि विस्फोट स्थल के पास एक हवाई जहाज टैक्सी कर रहा था, जो टर्मिनल बिल्डिंग से लगभग 100 मीटर (109 गज) दूर था. रनवे को फिलहाल पूरी तरह से बंद कर दिया गया है. हालांकि, सरकार के प्रवक्ता योशिमासा हयाशी ने कहा कि धमाके से हुए गड्ढे को भरने के लिए मरम्मत का कार्य पूरा होने के बाद गुरुवार सुबह रनवे को फिर से खोले जाने की उम्मीद है.

Tags: Japan, Special Project


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एडवोकेट अरविन्द जैन

संपादक, बुंदेलखंड समाचार अधिमान्य पत्रकार मध्यप्रदेश शासन

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