Veerodaya in Indore* India: , Pratibharat: Programme | इंदौर में ‘वीरोदय भारत: , प्रतिभारत:’ कार्यक्रम: सैनिक इस राष्ट्र का विश्वास और भरोसा, वर्दी तिरंगे की आन, बान और शान- योगेंद्र सिंह यादव – Indore News

छत्रपति नगर के दलाल बाग में मुनि विनम्र सागर जी महाराज ससंघ के सानिध्य में एक दो दिनी वीरोदय* भारत: , प्रतिभारत: कार्यक्रम के अंतर्गत करीब 65 सैनिकों का सम्मान किया गया। मुख्य सम्मान था, परमवीर चक्र विजेता योगेंद्र सिंह यादव का। विनम्र वाणी परिवार के
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परमवीर चक्र विजेता योगेंद्र सिंह यादव।
140 करोड़ लोगों का विश्वास है वर्दी
योगेंद्र सिंह यादव ने अपने सम्मान के प्रति उत्तर में कहा कि मैं मात्र 16 साल 5 माह की उम्र में फौज में चला गया था। मुझे फौज में जाने की प्रेरणा मिली 14 टैंकों को ध्वस्त करने वाले सेकंड लेफ्टिनेंट अरुण क्षेत्रपाल से। उन्होंने कहा कि सैनिक इस राष्ट्र का विश्वास और भरोसा होता है। उनकी वर्दी तिरंगे की आन, बान और शान होती है। 140 करोड़ लोगों का विश्वास है वर्दी। आज मेरे सामने ये जो वीरांगनाएं बैठी हैं, मैं उनको नमन करता हूं।

परमवीर चक्र विजेता योगेंद्र सिंह यादव का सम्मान करते मुनिश्री।
तिरंगे में चक्र का निशान साधु का ही है
उन्होंने कहा कि मां-बाप की सबसे बड़ी खुशी होती है कि उन्हें उनके बेटे के नाम से जाना जाए। व्यक्ति की पहचान किसी पद या ओहदे से नहीं होती, वो होती है उसके कर्मों से। धन, दौलत पद व प्रतिष्ठा सब यही रह जाएंगे। धरती पर जो आया है, उसे एक दिन मरना है, लेकिन कायरों की तरह नहीं मरो। जब मैं सेना में जा रहा था, मां ने मुझसे कहा था कि मैंने तुझे सीने का दूध पिलाया है, गोली जब भी खाना, सीने पर ही खाना। आप सोचते हैं कि फौजी तो होता ही मरने के लिए है, मैं कहता हूं वह मरने के लिए नहीं दुश्मन को मारने के लिए पैदा होता है, कृपया ये मानसिकता बदलें। पूरे विश्व में भारत ही ऐसा राष्ट्र है जिसे भारत मां का नाम दिया गया है, अन्य कोई दूसरा देश ऐसा नहीं है, जिसके साथ मां शब्द जुड़ा हुआ हो। सैनिक शौर्य, पराक्रम और वीरता की पराकाष्ठा है। उन्होंने कहा कि साधु अंतकरण में भक्ति का भाव रखता है, और सैनिक भी भक्ति / भाव में डूबा रहता है। तिरंगे में जो चक्र का निशान है, वो साधु का ही है। देश के युवाओं को अपनी लाइफ स्टाइल बदलना पड़ेगी। मुनिश्री के आशीर्वाद से यह दो दिनी कार्यक्रम सफल हुआ। मैं आप सभी को साधुवाद देता हूं।
आचार्य समय सागर जी महाराज की कृपा से कार्यक्रम सफल हुआ
मुनि विनम्र सागर जी महाराज ने कहा कि आचार्य समय सागर जी महाराज की कृपा से यह कार्यक्रम सफल हुआ, किंतु हम सभी सैनिकों की शौर्य गाथा नहीं सुन पाए, अगले वर्ष पुन: कार्यक्रम होगा और सबसे अनुरोध करता हूं कि आप सब आकर इस कार्यक्रम को गौरवान्वित करना। इस कार्यक्रम में इंदौर समाज के सभी लोगों का सहयोग रहा। कार्यक्रम के आयोजक थे, विनम्र वाणी परिवार। सहयोग किया दयोदय ट्रस्ट, आदिनाथ ट्रस्ट छत्रपति नगर एवं सकल दिगंबर जैन समाज इंदौर ने।
गुरुदेव की आठ द्रव्यों से पूजन की
दिगंबर जैन समाज सामाजिक संसद के प्रचार प्रमुख सतीश जैन ने बताया कि रविवार प्रातः पार्श्वनाथ भगवान के मोक्ष कल्याणक के अवसर पर श्री आदिनाथ जिनालय में लाडू चढ़ाया गए। दलाल बाग में दोपहर 1:30 बजे गुरुदेव के चित्र के समक्ष दीप प्रज्जवलन के बाद गुरुदेव की आठ द्रव्यों से सभी श्रावक- श्राविकाओं ने पूजन की। इस अवसर पर ब्रिगेडियर सौरभ जैन, मनोज बाकलीवाल, मनीष नायक, सतीश डबडेरा, राजकुमार पाटोदी, एमके जैन, पुष्पा कासलीवाल , राकेश विनायका, सतीश जैन, भूपेंद्र जैन, आनंद जैन, कमल अग्रवाल , भरतेश बड़कुल, प्रदीप जैन, रितेश जैन, सुमत प्रकाश जैन, राकेश सिंघई आदि के साथ ही हजारों समाजजन मौजूद थे। पूज्य मुनि निस्वार्थ सागर जी, निसर्ग सागर जी एवं क्षुल्लक हीरक सागर जी महाराज भी मंच पर विराजित थे। धर्म सभा का संचालन अनुराग जैन और दीपक जैन ने किया।
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