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IPL 2023: जब गौतम गंभीर ने कहा था “मेरे टीममेट को गाली दी तो छोड़ूंगा नहीं” | When Gautam Gambhir said “I will not leave if you abuse my teammate”

गौतम गंभीर को अच्छा नहीं लगता था कि कोई उनकी टीम के खिलाड़ी को गाली दे, कोच बनने के बाद भी उनका रवैया वही है।

Cricket

lekhaka-Ashok kumar sharma

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LSG vs CSK


Gautam
Gambhir
:
गौतम
गंभीर
ने
चार
साल
पहले
ही
ये
चेतावनी
दे
दी
थी
कि
अगर
किसी
ने
उनके
टीममेट
को
गाली
दी
तो
वे
उसे
छोड़ेंगे
नहीं।
1
मई
2023
को
जब
विराट
कोहली
ने
तथाकथित
रूप
से
नवीनुल
हक
को
गाली
दी
तो
टीम
के
मेंटर
गौतम
गंभीर
कोहली
से
भिड़
गये।
अगर
बीच
बचाव
नहीं
होता
तो
शायद
मैदान
में
हाथापायी
भी
हो
गयी
होती।
दोनों
जिस
तैश
और
तेवर
में
एक
दूसरे
के
सामने
खड़े
थे
कोई
अनहोनी
भी
हो
सकती
थी।
चूंकि
आइपीएल
का
आयोजन
बीसीसीआइ
करती
है
इसलिए
लखनऊ
की
घटना
भारतीय
क्रिकेट
पर
एक
काला
धब्बा
है।
बीसीसीआइ
सिर्फ
आर्थिक
दंड
लगा
कर
चुप
बैठ
गयी
जब
कि
उसे
इस
मामले
में
कोई
सख्त
कार्रवाई
करनी
चाहिए
थी।

LSG vs CSK: टेस्ट के अंदाज में जडेजा की गेंद ले उड़ी विकेट, स्टोइनिस देखते रह गए, देखें वीडियोLSG
vs
CSK:
टेस्ट
के
अंदाज
में
जडेजा
की
गेंद
ले
उड़ी
विकेट,
स्टोइनिस
देखते
रह
गए,
देखें
वीडियो


2013
की
घटना

आइपीएल
2013
का
12वां
मैच
रॉयल
चैलैंजर्स
बैंगलोर
और
कोलकाता
नाइट
राइडर्स
के
बीच
खेला
गया
था।
कोलकाता
के
कप्तान
गौतम
गंभीर
थे
तो
बैंगलोर
के
कप्तान
विराट
कोहली।
दूसरी
पारी
में
बैंगलोर
जीत
के
लिए
155
रनों
के
लक्ष्य
का
पीछा
कर
रहा
था।
दसवें
ओवर
में
लक्ष्मीपति
बालाजी
ने
कोहली
को
35
रनों
पर
आउट
कर
दिया।
कोहली
जब
ड्रेसिंग
रूम
की
तरफ
जाने
लगे
तो
उन्हें
कुछ
कहा
गया।
इसके
बाद
कोहली
और
गंभीर
दोनों
ही
बहुत
आक्रामक
तरीके
से
एक
दूसरे
की
तरफ
बढ़े।
अगर
कोलकाता
के
खिलाड़ी
रजत
भाटिया
ने
दोनों
को
बीच
में
रोका
नही
होता
तो
शायद
उनमें
धक्का-मुक्की
भी
हो
सकती
थी।
दोनों
का
अंदाज
बहुत
खतरनाक
था।


“कोई
मेरे
टीममेट
को
गाली
कैसे
दे
सकता
है?”

2019
में
एक
इंटरव्यू
में
जब
गौतम
गंभीर
से
इस
घटना
के
बार
में
पूछा
गया
तो
उन्होंने
कहा,
इस
घटना
में
कुछ
भी
व्यक्तिगत
नहीं
था।
कोई
भी
टीम
मैदान
पर
सिर्फ
जीतने
के
इरादे
से
उतरती
है।
इसकी
वजह
से
कभी-कभी
मैदान
पर
गर्मागर्मी
हो
जाती
है।
लेकिन
आप
किसी
को
गाली
कैसे
दे
सकते
हैं
?
टीम
लीडर
का
दायित्व
है
कि
वह
अपने
खिलाड़ियों
के
साथ
हमेशा
खड़ा
रहे।
जब
हम
पहली
पारी
में
बैटिंग
कर
रहे
थे
तब
उनकी
तरफ
(विराट)
से
गाली
वाली
भाषा
का
इस्तेमाल
हो
रहा
था।
मेरे
साथी
खिलाड़ियों
को
गाली
दी
जा
रही
थी।
अगर
आप
विरोधी
टीम
के
खिलाड़ी
को
वर्बल
एब्यूज
कर
रहे
हैं
तो
आपको
भी
यह
सुनने
की
क्षमता
होनी
चाहिए।
अगर
आप
में
दम
है
देने
का
तो
आप
में
दम
होना
चाहिए
लेने
का
भी।
अगर
मैं
किसी
को
स्लेज
कर
रहा
हूं
तो
मेर
में
दम
होना
चाहिए
स्लेज
लेने
का
भी।
यह
एकतरफा
नहीं
हो
सकता।
केवल
आप
बोलें
और
दूसरा

बोले,
ये
कैसे
हो
सकता
है
?
जब
हमने
जवाब
दिया
तो
उन्हें
बुरा
लग
गया।
गंभीर
के
इसी
‘लेने
और
देने’
वाले
बयान
पर
तंज
कसने
के
लिए
आरसीबी
ने
इसे
नये
रूप
में
इस्तेमाल
किया
है।


“…तो
हर
बार
ऐसा
ही
करूंगा”

इस
इंटरव्यू
में
गंभीर
ने
एक
तरह
से
कोहली
को
भविष्य
के
लिए
चेतावनी
दे
थी।
उन्होंने
कहा
था,
जब
आप
टीम
को
लीड
कर
रहे
हैं
तब
आपका
कर्तव्य
है
कि
आप
अपने
खिलाड़ियों
के
साथ
खड़े
रहें।
अगर
कोई
मेरे
साथी
खिलाड़ी
को
गाली
तो
मैं
इसका
जवाब
जरूर
दूंगा।
आप
जब
भी
मेरे
सामने
ऐसी
परिस्थिति
लाएंगे
तब
हर
बार
मेरा
यही
स्टैंड
रहेगा।
यह
केवल
2013
की
बात
नहीं
है।
आगे
भी
जब
ऐसी
बात
होगी,
फिर
यही
घटना
होगी।
मुझे
ऐसा,
करने
का
कोई
अफसोस
भी
नहीं
होगा।
ये
बात
मैं
साफ
साफ
कह
रहा
हूं।
पहले
भी
कहता
रहा
हूं
और
आज
भी
कह
रहा
हूं।


गौतम
ने
अपनी
चेतावनी
सच
कर
दी

1
मई
2023
को
गौतम
गंभीर
ने
अपनी
चेतावनी
को
सच
साबित
कर
दिया।
वे
विराट
से
इसलिए
भिड़
गये
क्योंकि
उन्होंने
उनकी
टीम
के
नवीनुल
हक
को
गाली
(जैसा
आरोप
है)
दी
थी।
गंभीर
लखनऊ
के
मेंटर
हैं
और
वे
टीम
को
अपना
परिवार
मानते
हैं।
इसलिए
गंभीर
ने
रहा
था,
तूने
नवीन
को
नहीं
मेरे
परिवार
को
गाली
दी।
कुछ
लोग
क्रिकेट
को
प्रतिस्पर्धी
बनाने
के
लिए
स्लेजिंग
की
वकालत
करते
हैं।
लेकिन
क्या
गाली-गलौज
स्लेजिंग
है
?
अगर
है
तो
इसे
बंद
कर
दिया
जाना
चाहिए।
इस
मामले
में
गलती
किसकी
है
ये
तो
अनुंसधान
का
विषय
है
लेकिन
ये
बात
तो
तय
है
कि
कोई
खिलाड़ी
गाली
सुनने
नहीं
बल्कि
क्रिकेट
खेलने
के
लिए
आता
है।
गाली-गलौज
रोकने
के
लिए
क्रिकेट
में
सख्त
नियम
बनने
चाहिए।
गौतम
गंभीर
ने
तो
अपने
हिस्से
का
क्रिकेट
खेल
लिया
लेकिन
विराट
तो
अभी
भारतीय
टीम
के
अहम
सदस्य
हैं।
बार-बार
विवाद
में
आने
से
उनकी
छवि
खराब
हो
रही
है।
इस
आइपीएल
में
सौरव
गांगुली
से
हाथ
नहीं
मिलाने
का
विवाद
शांत
भी
नहीं
हुआ
था
कि
उनकी
गौतम
गंभीर
से
भिड़ंत
हो
गयी।
कोहली
क्रिकेट
की
जिस
ऊंचाई
पर
खड़े
हैं
वहां
ऐसे
आचरण
के
लिए
कोई
गुंजाइश
नहीं।

English summary

When Gautam Gambhir said “I will not leave if you abuse my teammate”


Source link

एडवोकेट अरविन्द जैन

संपादक, बुंदेलखंड समाचार अधिमान्य पत्रकार मध्यप्रदेश शासन

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