अजब गजब

किराये को लेकर टैक्सी ड्राइवर से कहासुनी, झगड़े से मिला बिजनेस आइडिया, फिर भाविश अग्रवाल ने बनाई Ola कैब कंपनी

Success Story: झगड़े हमेशा परेशानी का कारण बनते हैं लेकिन कभी-कभी झगड़ों से बड़ा समाधान मिल जाता है. आप सोचेंगे भला ये क्या बात हुई. दरअसल हम आपको एक ऐसे शख्स की सक्सेस स्टोरी बताने जा रहे हैं जिसकी जिंदगी में छोटे-से विवाद के कारण बड़ा मोड़ आया और जिससे उसे एक अनोखा बिजनेस आइडिया मिला. हैरानी की बात है कि यह बिजनेस इस कदर सफल हुआ कि आज पूरे देश में इसके चर्चे हैं.

महानगरों से लेकर बड़े शहरों तक हर जगह आपने Ola कैब्स देखी होंगी और उसमें सफर किया होगा. ओला की शुरुआत आईआईटी से ग्रेजुएट भाविश अग्रवाल ने की. सबसे खास बात है कि इस कैब सर्विस को शुरू करने का आइडिया उन्हें एक विवाद की वजह से मिला. आइये आपको बताते हैं आखिर क्या है देश के दिग्गज और सफल कैब स्टार्टअप की पूरी कहानी…

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झगड़े ने बदली जिंदगी
ओला कैब (Ola Cabs) सर्विस को शुरू करने का आइडिया भाविश अग्रवाल को उस वक्त आया, जब एक यात्रा के दौरान वे टैक्‍सी ड्राइवर की मनमानी के शिकार हुए. इसके बाद भाविश ने यह महसूस किया कि देश में एक ऐसी कैब सर्विस की सख्‍त जरूरत है जिसका किराया कम हो, ड्राइवर यात्री के प्रति जिम्‍मेदार हो और टैक्‍सी कहीं से भी आसानी से मिल सके.

दरअसल हुआ यूं कि भाविश अग्रवाल वीकेंड पर अपने दोस्‍तों के साथ बेंगलुरु से बांदीपुर किराये की टैक्‍सी लेकर जा रहे थे. इस दौरान कार ड्राइवर ने गाड़ी बीच रास्ते में रोक दी और तय किराये से ज्‍यादा पैसे मांगने लगा. काफी समझाने के बाद भी ड्राइवर राजी नहीं हुआ इसके बाद भाविश और उनके दोस्‍तों को बस से बांदीपुर जाना पड़ा. टैक्सी ड्राइवर के साथ हुए इस विवाद के बाद भाविश के मन में ओला टैक्‍सी सर्विस शुरू करने का आइडिया आया.

परिवार वाले भी आसानी से नहीं माने
हालांकि, नौकरी छोड़कर कैब सर्विस शुरू करने का फैसला इतना आसान नहीं था. क्योंकि, जब उन्होंने अपना यह प्लान घरवालों को बताया तो वे राजी नहीं हुए उन्हें लगा कि लड़का दिग्गज आईटी कंपनी छोड़कर ट्रैवल एजेंसी का काम करेगा. लेकिन, भाविश अग्रवाल ठान चुके थे कि उन्हें किफायती कैब सर्विस का बिजनेस शुरू करना है. फिर क्या था उन्होंने 2011 में बेगलुरु में अंकित भाटी के साथ मिलकर ओला कैब्स की शुरुआत कर दी.

ओला कैब्स के आइडिया को देश में जबरदस्त सफलता मिली. आलम यह है कि आज देश के करोड़ों लोगों के स्मार्टफोन में ओला ऐप मिल जाएगा और जब भी कार, ऑटो या बाइक बुक करने की बात आती है तो लोग ओला को प्राथिमकता देते हैं.

डीएनए की रिपोर्ट के अनुसार, ओला कैब्स की वैल्यूएशन 4.8 बिलियन डॉलर यानी 39832 करोड़ रुपये हो गई है. इसके अलावा, भाविश अग्रवाल ने 2017 में ओला इलेक्ट्रिक नाम से एक और कंपनी लॉन्च की. कंपनी इलेक्ट्रिक दोपहिया वाहन बनाती है. पिछले साल उन्होंने करीब 2400 करोड़ रुपये (300 मिलियन डॉलर) जुटाए थे. 2022 में उनकी नेटवर्थ 11700 करोड़ रुपये थी.

Tags: Business news in hindi, High net worth individuals, Ola Cab, Uber


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एडवोकेट अरविन्द जैन

संपादक, बुंदेलखंड समाचार अधिमान्य पत्रकार मध्यप्रदेश शासन

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