मध्यप्रदेश

Five villages drowned in Manawar | नर्मदा का बैक वाटर ने कई घरों को डुबाया, लोगों ने छतों पर गुजारी रात

मनावरएक घंटा पहले

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अधिक बारिश से मनावर के पांच गांव डूब गए है। सबसे ज्यादा स्थिति मनावर से 20 किलोमीटर दूर ग्राम पटवार की है। यहां करीब 100 घरों में नर्मदा नदी का बैक वाटर घुसने से पूरा गांव जल मग्न हो गया। इसी के साथ एकलबारा, अछोदा, बड़दा, मलनगांव और कोठड़ा गांव भी डूब गए है। पटवार ग्राम के संतोष जाट ने बताया कि नर्मदा के बैक वाटर से पूरा गांव 20 घंटे से डूबा हुआ है। प्रशासन से कोई राहत अभी तक नहीं पहुंची है।

पटवार के ग्राम वासियों ने बताया कि शनिवार की दोपहर में नर्मदा का पानी तेजी से बढ़ने के कारण गांव में अचानक पानी बढ़ गया। गांव वाले भागते नजर आए। ग्राम पटवार में एक मंजिल के मकान डूब गए है। वहीं कई कच्चे मकान गिर गए। गांव टापू बन गया है।

गांव के नितिन पाटीदार, राहुल पाटीदार ने बताया कि गुजरात के सरदार सरोवर बांध को भरने से रोकने के लिए गांव डूब रहे है। रविवार को लगातार बढ़ते बैक वाटर के कारण गांव में भय बना हुआ है। दिनेश मालवीया ने बताया कि शनिवार रात्रि को अंधरे में घरों की छतों पर रात काटी है। ग्रामवासी घर छोड़कर अन्य जगह जा रहे है।

दिनेश जाट ने बताया कि ग्रामीणों ने अपना सामान अन्य लोगों के घरों में रखा है। कुछ ने ट्रैक्टर-ट्राली में भरकर पैक कर दिया। सभी ग्रामवासी एक एक जुट होकर खाना देने की मदद कर रहे है। नर्मदा बचाओ आंदोलन के मुकेश भगोरिया ने कहा कि बांध के कारण फैल रहे बैक वाटर से सैकड़ों गांवों में बिना पुनर्वास के डूब आ गई है।

डूब गांव की सुध लेने नहीं आए अधिकारी

ग्रामीणों ने बताया कि शनिवार से डूब ग्राम पटवार की सुध लेने कोई जिम्मेदार अधिकारी नहीं पहुंचा। सरपंच जगदीश कनेल, राकेश पाटीदार और ग्रामीणों ने बताया कि गांव के चारों ओर पानी आ चुका है। पूरा गांव डूब में हैं और करीब 100 घरों में पानी घुस कर चुका है। यहां बस 4 मकान को डूब से बाहर है।

गांव की करीब 100 बीघा खेती की जमीन टापू बन रही है। इसमें जाने के लिए कोई रास्ता नहीं है। फसलें खेतों में खराब हो रही है। यहां प्रशासन का कोई अधिकारी अब तक सुध लेने नहीं आया। गांव का पंचायत भवन भी डूब गया है। रामेश्वर मालवीया ने बताया कि सभी डूब गांवों में शिविर लगाए जाने की मांग प्रशासन से की है।

गांव में जाने का रास्ता हुआ बंद

नर्मदा का बैक वाटर और मान नदी का जल स्तर तेजी से बढ़ने से गांव में जाने का रास्ता भी बंद हो गया है। ग्रामीण संजय ने बताया कि रविवार को सुबह 11 बजे तक पानी धीरे-धीरे कम हो रहा है। मनावर एनवीडीए के अधिकारी चरण सिंह खरे ने बताया कि नर्मदा के पानी से करीब 5 गांव डूबे है। इसमें पटवार, एकलबारा, अछोदा, बड़दा, मलनगांव और कोठड़ा शामिल है। इसके अलावा भी पानी से अन्य गांवों की स्थिति खराब है।

शासन-प्रशासन घर बैठे कर रहा सर्वे

जयस राष्ट्रीय संरक्षक विधायक डॉ. हिरालाल अलावा डूब प्रभावित ग्रामों का दौरा करने पहुंचे। उन्होंने कहा कि सरकार ने डूब वालों को भगवान के भरोसे छोड़ रखा है। शासन-प्रशासन घर बैठे सर्वे कर रहा है।विधायक अलावा ने सीएम शिवराज सिंह को पत्र लिखकर मनावर विधानसभा क्षेत्र में पिछले 24 घंटे से हो रही मूसलाधार बारिश से नर्मदा नदी में आए बाढ़ के कारण डूब प्रभावित गांवों में तुरंत आपदा प्रबंधन टीम की तैनाती करने, पीड़ितों को राहत शिविर में रहने की उचित व्यवस्था और स्वास्थ्य के लिए विशेषज्ञ डॉक्टर की टीम भेजने की मांग की है। विधायक ने कहा कि मनावर विधानसभा क्षेत्र में नर्मदा नदी के किनारे के गांव एकलबारा, अछोदा, सेमल्दा, शरीकपुरा, बड़दा, मलनगांव, गोपालपुरा, कोठड़ा, रतवा,पटवार सामजीपुरा, गोगांवा समेत कई गांव डूब गए हैं।


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एडवोकेट अरविन्द जैन

संपादक, बुंदेलखंड समाचार अधिमान्य पत्रकार मध्यप्रदेश शासन

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