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अरुणाचल फ्रंटियर हाइवे: चीन को बैकफुट पर डालने की तैयारी.

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FRONTIER HIGHWAY: बॉर्डर रोड ऑर्गेनाइजेशन का गठन 1960 में हुआ था. सिर्फ दो प्रोजेक्ट पूर्वोत्तर में प्रोजेक्ट टसकर जिसे आज वर्तक के नाम से जाना जाता है और नॉर्थ में प्रोजेक्ट बीकॉन के साथ शुरू किया था. आज BRO 1…और पढ़ें

LAC के पास से गुजरेगी भारतीय हाइवे NH-913, BRO ने शुरू किया कामबिछ रहा है सड़को का जाल

हाइलाइट्स

  • BRO ने NH-913 का निर्माण शुरू किया.
  • NH-913 भूटान से म्यांमार बॉर्डर तक जाएगी.
  • यह हाइवे 1465 किलोमीटर लंबा होगा.
FRONTIER HIGHWAY: चीन हमेशा से अरुणाचल पर अपना दावा जताता रहा है. उसने अपने मैप में अरुणाचल प्रदेश का नाम बदलने के साथ साथ भारतीय इलाकों के नाम तक बदलने की साजिश की है. पूर्वोत्तर की सीमा को पहले भारत की एक कमजोर कड़ी के रूप में देखा जाता था, लेकिन अब ऐसा नहीं है. 1962 के भीषण युद्ध के दौरान जैसी स्थिति थी, उससे तस्वीर बिलकुल बदल चुकी है. चीन अपने को इस इलाके में मजबूत करने के लिए एलएसी के पास घोस्ट विलेज बना रहा है. रिपोर्ट के मुताबिक, 600 के करीब ऐसे गांव चीन ने बसाए हैं. अब भारत की तरफ से प्लान किया गया है जो चीन को बैकफुट में डालने के लिए काफी होगा. उन गांवों के पास से होकर भारतीय गाड़ियाँ गुजरेंगी. अंग्रेजों के बनाए मैकमैहोन लाइन के साथ भारतीय NH-913 यानी कि फ्रंटियर हाइवे गुजरेगी. यह हाइवे लगभग 1465 किलोमीटर लंबा है और यह तवांग के पास भारत-भूटान-तिब्बत ट्राई जंक्शन के मोगो से शुरू होगा और म्यांमार से घिरे विजय नगर तक जाएगा. साल 2022 से इस रोड का काम शुरू है. बॉर्डर रोड ऑर्गेनाइजेशन (BRO) इस पूरे हाइवे पर 531 किलोमीटर की सड़कें बनाने का जिम्मा मिला है. खास बात यह है कि साल 2024 से BRO ने इसका काम शुरू कर दिया है. कायिंग से टेटो के बीच रोड की फॉर्मेशन कटिंग का काम जारी है.

क्या है पूरा प्रोजेक्ट?
यह पूरा प्रोजेक्ट लगभग 27 हजार करोड़ रुपये का है.यह अरुणाचल फ्रंटियर हाइवे ईस्ट कामेंग, वेस्ट कामेंग, अपर सुभांसरी, अपर सियांग, दिबांग वैली, लोहित, अंजवॉ और चांगलांग से होकर गुजरेगा. इससे पहले अरुणाचल प्रदेश में दो हाइवे हैं, इसके बाद कुल तीन बड़े हाइवे बन जाएंगे. जो कि एक दूसरे के हॉरिजॉंटल हैं यानी कि मैकमैहोन लाइन के साथ-साथ से गुजरने वाला अरुणाचल फ्रंटियर हाइवे. दूसरा हाइवे है ट्रांस अरुणाचल हाइवे और तीसरा है ईस्ट-वेस्ट इंडस्ट्रियल कॉरिडोर हाइवे. इन तीन हाइवे को जोड़ने के लिए 6 वर्टिकल और डायगनल इंटर कॉरिडोर हाइवे बनाए जाने हैं. इन 6 हाइवे की लंबाई 1048 किलोमीटर है और इन पर 15720 करोड़ रुपये का खर्च होने वाला है. इन 6 हाइवे से बॉर्डर इलाकों तक आसानी से पहुंचा जा सकेगा. अरुणाचल प्रदेश के दूर-दराज के इलाकों में जो कनेक्टिविटी नहीं थी, उसे पूरा किया जाएगा. यानी कि पूरे प्रोजेक्ट की लागत 40 हजार करोड़ रुपये है और कुल 2500 किलोमीटर की डबल लेन रोड तैयार होगी.

4 साल में 405 बॉर्डर इंफ्रास्ट्रक्चर
विषम परिस्थितियों में बॉर्डर रोड ऑर्गेनाइजेशन (BRO) बॉर्डर एरिया में रोड नेटवर्क को तैयार करने में जुटी है. BRO इस क्षेत्र में लगातार नए-नए कीर्तिमान बनाकर चीन और पाकिस्तान को बैकफुट में डालने का काम कर रही है. पिछले 4 साल के आंकड़ों पर नजर डालें तो साल 2021 से 2024 तक BRO ने 12 राज्यों और 2 संघ शासित प्रदेशों में 405 इंफ्रास्ट्रक्चर प्रोजेक्ट का निर्माण कर देश को समर्पित किया है. इसमें सड़कें, ब्रिज, टनल, हैलीपैड शामिल हैं. भारत की कोशिशें हैं कि सीमा के पास रहने वाले और अपनी सीमा की सुरक्षा में तैनात सैनिकों को साल भर ऑल वेदर कनेक्टिविटी मिले. इसी को ध्यान में रखते हुए रोड और टनल को हर मौसम प्राथमिकता दी जा रही है. पूरी एलएसी तक जाने वाली सड़कों पर जितने भी ब्रिज हैं, उन्हें क्लास 70 का बनाया जा रहा है. यानी कि 70 टन के भारी-भरकम टैंक और अन्य सैन्य उपकरणों को आसानी से और तेजी से सीमा तक पहुंचाया जा सके.

नई तकनीक से मिली नई स्पीड
हाई ऑलटिट्यूड एरिया में सड़कें बनाना वाकई किसी चुनौती से कम नहीं. बर्फबारी, माइनस तापमान और भारी बारिश के चलते साल में काम करने के लिए महज 4 से 5 महीने ही मिलते हैं. पहाड़ों में टनल के लिए ड्रिलिंग भी बहुत कठिन होती है, लेकिन नई तकनीक के उपकरण और BRO के जज़्बे के सामने सभी कठिनाइयां बौनी साबित हो रही हैं. सरकार ने तकनीक को प्राथमिकता देते हुए बॉर्डर रोड ऑर्गेनाइजेशन को छूट दी है अपना काम करने के लिए. इस समर्थन से कार्यशैली में परिवर्तन किया और उसी के मिश्रण से यह तेजी आई है. चाहे सड़कें बनानी हों या फिर टनल, BRO दुनिया में तकनीक के मामले में सबसे बेहतर हो गई है. BRO ने साल 2021 में 102 प्रोजेक्ट, 2022 में 103 प्रोजेक्ट, 2023 में 125 और 2024 में 75 रोड टनल को तैयार कर राष्ट्र को समर्पित किया है.

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LAC के पास से गुजरेगी भारतीय हाइवे NH-913, BRO ने शुरू किया काम

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