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ग्वालियर हाईकोर्ट ने दिव्यांगजनों के लिए एक विशेष एप बनाने का आदेश दिया है। यह एप आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस का उपयोग कर सांकेतिक भाषा को समझने में सक्षम होगा। मोबाइल या स्क्रीन के माध्यम से सांकेतिक भाषा को कैप्चर किया जा सकेगा।
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एनआईसी ने पहले से ही अपराध की जांच और अभियोजन में तेजी लाने के लिए ‘संदेश’ नाम का एप विकसित किया है। इस एप में 6,258 समूह बनाए गए हैं। हालांकि, कोर्ट में प्रस्तुत डेटा से पता चला कि इस एप का पर्याप्त उपयोग नहीं किया जा रहा है।
एडीजी एनआईसी ने न्यायालय को बताया कि संदेश एप में नए बदलाव किए जा रहे हैं। इसमें घटनास्थल की वीडियोग्राफी का फीचर जोड़ा जाएगा। कोर्ट ने पुलिस महानिदेशक को एप के व्यापक प्रसार के निर्देश दिए हैं।
दिव्यांगजनों की समस्याओं को देखते हुए कोर्ट ने उनके लिए विशेष एप बनाने का निर्णय लिया है। इस याचिका पर अगली सुनवाई एक अगस्त को होगी। इस दौरान नए एप के संबंध में विस्तृत जानकारी प्रस्तुत की जाएगी।
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