[ad_1]
खरगोन जिला अस्पताल में मंगलवार को आपदा प्रबंधन के तहत बर्न यूनिट केंद्रित मॉकड्रिल का आयोजन किया गया। इस अभ्यास का उद्देश्य आपात स्थिति में अस्पताल की तैयारियों की परख करना था। मॉकड्रिल के दौरान संयुक्त कलेक्टर हेमलता सोलंकी ने अस्पताल की व्यवस्थाओं
.
मॉकड्रिल के तहत अचानक एम्बुलेंस सायरन बजाते हुए अस्पताल के मुख्य गेट पर पहुंची। इसमें एक गंभीर रूप से झुलसे डमी मरीज को लाया गया। गेट पर तैनात अस्पताल स्टाफ ने तुरंत स्ट्रेचर की सहायता से मरीज को बर्न वार्ड तक पहुंचाया। वहां मौजूद डॉक्टरों और नर्सिंग स्टाफ ने प्राथमिक उपचार शुरू किया।
संयुक्त कलेक्टर ने लिया जायजा
संयुक्त कलेक्टर हेमलता सोलंकी ने बर्न वार्ड में डॉक्टरों, नर्सिंग स्टाफ और बेड की उपलब्धता की जानकारी ली। इसके बाद वे सर्जिकल ओटी (ऑपरेशन थिएटर) पहुंचीं और व्यवस्थाओं को परखा। नर्सिंग इंचार्ज नीतू गुप्ता ने उन्हें सर्जिकल ओटी में इमरजेंसी स्थितियों में की जाने वाली तैयारियों की जानकारी दी। उन्होंने बताया कि रोटेशन आधारित स्टाफ शिफ्ट के जरिए सेवा दी जाती है।

मॉकड्रिल के दौरान एक गंभीर रूप से झुलसे डमी मरीज को लाया गया।
दवा भंडार और इलाज सुविधा पर जोर संयुक्त कलेक्टर ने दवा भंडार में दवाओं के स्टॉक की स्थिति की भी जानकारी ली। उन्होंने सिविल सर्जन डॉ. अमरसिंह चौहान को निर्देश दिए कि अस्पताल में 24 घंटे इलाज की सुविधा सुनिश्चित की जाए। इस दौरान डॉ. आरएस सेप्टा, डॉ. गौरव पाटीदार, डॉ. आकृति पाटीदार, सुपरवाइजर जीएस ओहरिया सहित अस्पताल का पूरा स्टाफ उपस्थित रहा।
सिविल सर्जन के अनुसार, संयुक्त कलेक्टर अस्पताल की व्यवस्थाओं से संतुष्ट नजर आईं। उन्होंने कहा कि इस तरह की मॉकड्रिल से आपदा के समय तेजी से और बेहतर प्रतिक्रिया देने की क्षमता विकसित होती है।
[ad_2]
Source link

