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बैतूल में अपनी मांगों के समर्थन में संविदा स्वास्थ्य कर्मचारी संघ से जुड़े कर्मचारियों ने शनिवार को अनोखे अंदाज में प्रदर्शन किया। कलेक्ट्रेट के पास धरना दे रहे ये कर्मचारी घरों से थाली और चम्मच लेकर पहुंचे और बजाते हुए सरकार के खिलाफ नारेबाजी की। वे
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संविदा नीति 2023 लागू करने की मांग
संविदा स्वास्थ्य कर्मचारियों की प्रमुख मांग संविदा नीति 2023 को शीघ्र लागू करने की है। कर्मचारियों ने सरकार पर वादाखिलाफी का आरोप लगाते हुए कहा कि पूर्व मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने संविदा कर्मियों की पंचायत में जो वादे किए थे, वे अब तक पूरे नहीं किए गए। कर्मचारियों का कहना है कि बार-बार मांगें उठाए जाने के बावजूद सरकार ने समाधान नहीं किया, जिससे उन्हें आंदोलन का रास्ता अपनाना पड़ा है।

कर्मचारियों ने थाली बजकर अपना विरोध दर्ज कराया।
आदेश की होली जलाकर जताया विरोध
संविदा कर्मचारियों की हड़ताल से स्वास्थ्य सेवाएं बुरी तरह प्रभावित हो रही हैं। इसी बीच, एनएचएम के मिशन संचालक ने शुक्रवार को सभी कलेक्टरों और सीएमएचओ को पत्र जारी कर हड़ताली कर्मचारियों पर कार्रवाई के निर्देश दिए। इसके विरोध में कर्मचारियों ने शुक्रवार को उक्त आदेश की ‘होली’ जलाकर अपना आक्रोश व्यक्त किया। कर्मचारियों ने इस आदेश को दमनकारी बताया और इसे संवैधानिक अधिकारों का हनन करार दिया।
जिला कार्यकारिणी बोले- जब तक न्याय नहीं मिल जाता, आंदोलन जारी रहेगा
जिला कार्यकारिणी से विनोद शाक्य, डॉ गोविंद साहू, एकनाथ ठाकुर और दीपक झरिया ने बताया कि एमडी एनएचएम द्वारा कलेक्टरों को संविदा कर्मचारियों पर कार्यवाही हेतु पत्र जारी करवाना बेहद निंदनीय है। उन्होंने कहा कि संविदा कर्मचारी अपने अधिकारों की लड़ाई के लिए पूरी ताकत के साथ मैदान में डटे रहेंगे और यह आंदोलन तब तक जारी रहेगा जब तक उन्हें न्याय नहीं मिल जाता।

संविदा स्वास्थ्य कर्मचारी 22 अप्रैल से अनिश्चितकालीन हड़ताल पर हैं।
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