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‘एक एकड़ में 76 पौधे लगाएं, अंतरवर्तीय फसलों से अतिरिक्त कमाई करें’
बुरहानपुर में आयोजित कृषि विज्ञान मेले में वैज्ञानिकों ने किसानों को खजूर की खेती के साथ अतिरिक्त आय के गुर सिखाए। केन्द्रीय नींबूवर्गीय अनुसंधान संस्थान नागपुर के फल वैज्ञानिक डॉ. दर्शन एमकदम ने बताया कि खजूर की खेती में लागत कम आती है और कीट व रोग
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तमिलनाडु के वैज्ञानिक डॉ. निजामुद्दीन ने खजूर की खेती की विस्तृत जानकारी दी। उन्होंने बताया कि रेतीली, लाल मिट्टी और अच्छे जल निकास वाली मिट्टी में खजूर की खेती की जा सकती है। एक एकड़ में 76 पौधे लगाए जा सकते हैं। शुरुआत में 10 पौधे लगाकर प्रति पौधा 10 हजार रुपए तक का लाभ संभव है।

वैज्ञानिकों ने किसानों को खजूर की खेती के साथ अतिरिक्त आय के गुर सिखाए।
बाजार की मांग के अनुसार फसल उत्पादन कृषि विज्ञान केन्द्र इंदौर के उद्यानिकी वैज्ञानिक डॉ. डी.के. मिश्रा ने किसानों को सलाह दी कि वे बाजार की मांग के अनुसार फसलों का उत्पादन करें। खजूर के साथ प्याज, तरबूज और अलग-अलग सब्जियां लगाकर अतिरिक्त आय प्राप्त कर सकते हैं। इसके अलावा चुकंदर, गाजर, मीठा नीम, सुरजना, धतूरा और बेलपत्र की खेती भी लाभदायक हो सकती है।
आधुनिक तकनीकों और रोग बचाव पर चर्चा मेले में केले की खेती पर भी चर्चा हुई। वैज्ञानिक डॉ. के.बी. पाटील ने केला उत्पादन की आधुनिक तकनीकों की जानकारी दी। उन्होंने फ्यूजेरियम रोग से बचाव के लिए अगस्त के अंत से दिसंबर के बीच बोआई करने की सलाह दी। कार्यक्रम का आयोजन कृषि तकनीकि प्रबंधन समिति आत्मा, उद्यानिकी और खाद्य प्रसंस्करण विभाग के संयुक्त तत्वावधान में किया गया। मेले में मुख्य अतिथि बुरहानपुर विधायक अर्चना चिटनीस ने भी संबोधित किया।
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