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लायंस आई हॉस्पिटल में कार्यक्रम को संबोधित करतीं प्रियदर्शनी राजे सिंधिया।
केंद्रीय मंत्री ज्योतिरादित्य सिंधिया की पत्नी प्रियदर्शनी राजे सिंधिया मंगलवार को गुना के दो दिवसीय दौरे पर आई। वह सबसे पहले लायंस आई हॉस्पिटल पहुंचीं, जहां उन्होंने मरीजों को कम्बल वितरित किए। इस दौरान उन्होंने कहा कि अगर हम कुछ दान नहीं कर सकते, च
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बता दें कि, प्रियदर्शनी राजे सिंधिया मंगलवार शाम गुना पहुंचीं थी, यहां सबसे पहले वह लायंस आई हॉस्पिटल पहुंचीं। क्लब के पदाधिकारियों ने उनका स्वागत किया, इसके बाद उन्होंने अस्पताल में भर्ती मरीजों के हाल-चाल जाने] उन्हें कंबल भी वितरित किए।
इसके बाद हॉल में कार्यक्रम का आयोजन किया गया। यहां लायनेस क्लब की अध्यक्ष सीमा पलिया ने उनका स्वागत करते हुए स्वागत भाषण दिया। इसके बाद लायंस आई हॉस्पिटल के चेयरमैन आलोक अग्रवाल ने हॉस्पिटल द्वारा अभी तक किए गए कार्यों के बारे में जानकारी दी।
उन्होंने बताया कि हॉस्पिटल द्वारा अभी तक 75 हजार लोगों के आंखों के ऑपरेशन किए जा चुके हैं। इसके अलावा ढाई लाख लोगों का इलाज किया जा चुका है। मरीजों को लाने, ले जाने, रुकने, खाने की व्यवस्था भी अस्पताल के द्वारा ही की जाती है।
कार्यक्रम को संबोधित करते हुए प्रियदर्शनी राजे सिंधिया ने कहा- ये जो आप लोग मिलकर करते हैं, ये समाज के लिए सबसे महत्वपूर्ण चीज है। यही काम हमारे समाज को सही मूल्य, सही शिक्षा देने का काम करता है। इस काम के लिए आप सब बधाई के पात्र हैं।

प्रियदर्शनी राजे सिंधिया का स्वागत करतीं लायनेस क्लब की सदस्य।
प्रियदर्शनी राजे सिंधिया ने कहा कि हम लोग जीवन में बहुत चीजें दान करते हैं। कोई खाना देता है, कोई पैसे देता है, कोई पढ़ाई करवाता है। लेकिन, जो सबसे बड़ा दान होता है जीवन का, वो शरीर का दान होता है। आज हमारे देश की आबादी इतनी है, लेकिन हमेशा खून की कमी रहती है, आंखों की हर वक्त कमी रहती है। एक शरीर का दान लगभग दस लोगों की जान बचा सकता है।
ये हम लोगों को सोचना चाहिए कि ठीक है जीवन में हम ज्यादा चैरिटी नहीं कर पाए, किसी को मदद नहीं कर पाए, लेकिन जाते समय अगर हम एक बच्चे को अगर आँखें दे पाएं, उसको रोशनी दे पाएं, किसी को लीवर देकर उसकी जान बचा पाएं, तो ये सबसे बड़ा दान होगा।

उन्होंने अस्पताल में भर्ती मरीजों को कम्बल वितरित किए।
कार्यक्रम के अंत में कुछ महिलाओं ने उनसे सवाल भी पूछे। एक महिला ने सवाल किया कि गुना में स्वास्थ्य सेवाओं में अभी थोड़ी कमी है। कोई भी थोड़ी गंभीर बीमारी हो तो भोपाल, इंदौर, ग्वालियर रेफर करना पड़ता है। स्पेशलिस्ट डॉक्टर यहां नहीं हैं। इस पर प्रियदर्शनी राजे सिंधिया ने कहा कि मैं 30 साल से इस क्षेत्र की बहू हूं।
जब पहले मैं यहां आती थी, तो यहां कुछ भी नहीं था। आज गुना में स्वास्थ्य सेवाओं में काफी इजाफा हुआ है। एक प्रयास हम लोगों को भी करना चाहिए कि हमारे बच्चे पढ़ें, स्पेशलिस्ट बनें और फिर अपने शहर में आकर बेहतरीन सेवाएं दें। ये प्रयास हर मां को करना चाहिए।
एक और महिला ने कहा कि महिलाओं के मानसिक स्वास्थ्य (मेंटल हेल्थ) पर बहुत ज्यादा चर्चा नहीं होती है। इस पर प्रियदर्शनी राजे ने कहा कि ये सही है कि अपने यहां मेंटल हेल्थ पर ज्यादा चर्चा नहीं होती। हम लोग मेंटल हेल्थ को लेकर डॉक्टर के पास जाते ही नहीं है। इसके पीछे का कारण है कि हमारे देश में हमेशा से संयुक्त परिवार रह हैं।
ऐसे में किसी महिला को अगर कोई समस्या होती है तो अपने परिवार के सदस्यों से ही चर्चा कर उनका हल निकाल लेते थे। पर आजकल छोटे परिवारों का कॉन्सेप्ट है। इस कारण हम अपने बातों को शेयर नहीं कर पाते हैं। साथ ही डॉक्टर के पास भी हम मेंटल हेल्थ को लेकर नहीं जाते हैं। इस पर चर्चा जरूर होना चाहिए।

कार्यक्रम में सवालों का जवाब देती प्रियदर्शनी।
इसके बाद वह कैंट स्थित कन्या छात्रावास पहुंचीं। यहां उन्होंने छात्राओं से चर्चा की। साथ ही उनकी समस्याओं को जाना, यहां से निकालकर वे शास्त्री पार्क स्थित चौपाटी गईं। वहां उन्होंने चौपाटी पर आए नागरिकों से चर्चा की। साथ ही कई व्यंजनों का लुत्फ उठाया।
इस दौरान भाजपा जिलाध्यक्ष धर्मेंद्र सिकरवार, नगरपालिका अध्यक्ष सविता अरविंद गुप्ता, जिला पंचायत उपाध्यक्ष सारिका क्षितिज लुंबा, सांसद प्रतिनिधि सुमेर सिंह गढ़ा, हरि सिंह यादव सहित भाजपा नेता, कार्यकर्ता मौजूद रहे।

चौपाटी पर पहुंचकर उन्होंने चाट पापड़ी का लुत्फ उठाया।
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