छतरपुर। बहुचर्चित कोतवाली पत्थरकांड के मामला अभी तक शांत नहीं हुआ है। एक ओर पुलिस विभाग द्वारा अभी भी आरोपियों की गिरफ्तारी की जा रही है तो वहीं दूसरी ओर राजनैतिक दल इससे तूल देने में लगे हैं। गुरुवार को कांग्रेस का प्रतिनिधि मंडल छतरपुर पहुंचकर पत्थरकांड के आरोपियों के परिजनों से मिला, इसके साथ ही कांग्रेस के प्रतिनिधिमंडल ने कलेक्टर से भी मुलाकता की। बताया जा रहा है कि प्रतिनिधि मंडल ने कलेक्टर के सामने मामले की निष्पक्ष जांच कराने और निर्दोष लोगों पर कार्रवाई न करने की मांग रखी है।प्राप्त जानकारी के मुताबिक गुरुवार की सुबह जबलपुर विधायक एवं मध्यप्रदेश के पूर्व मंत्री लखन घनघोरिया, भोपाल मध्य विधायक आरिफ मसूद, कांग्रेस के प्रदेश महामंत्री और चुनाव आयोग सेल के इंचार्ज जेपी धनोपिया और मध्यप्रदेश कांग्रेस अल्पसंख्यक विभाग अध्यक्ष शेख अलीम छतरपुर पहुंचे। उक्त प्रतिनिधिमंडल सर्वप्रथम छतरपुर के नया मोहल्ला पहुंचा, जहां आरोपी हाजी शहजाद अली की जमींदोज हवेली का अवलोकन किया। इसके बाद उक्त घटना के आरोपियों के परिजनों से प्रतिनिधिमंडल ने मुलाकात कर निष्पक्ष कार्रवाई कराने का भरोसा दिया। नया मोहल्ला से प्रतिनिधिमंडल कलेक्टर कार्यालय पहुंचा जहां कलेक्टर पार्थ जैसवाल से घटना और कार्रवाई के विभिन्न बिंदुओं पर विस्तृत चर्चा करते हुए मामले में निष्पक्ष कार्रवाई करने की मांग रखी गई। प्रतिनिधिमंडल ने कलेक्टर के सामने यह भी मांग रखी है कि पुलिस द्वारा घटना के आरोपियों के साथ पिता का नाम भी उजागर करे ताकि उसी नाम के अन्य व्यक्ति भयभीत न हों और अपने काम कर सकें।
एक व्यक्ति के अपराध की सजा पूरे परिवार को देना ठीक नहीं: घनघोरिया
कलेक्टर से मुलाकात करने के बाद कांग्रेस के प्रतिनिधि मंडल ने शहर के पन्ना रोड पर स्थित एक निजी होटल में पत्रकारवार्ता कर घटना और पुलिस द्वारा की गई कार्रवाई पर अपना नजरिया बताया। मीडिया से मुखातिब होते हुए भोपाल मध्य विधायक आरिफ मसूद ने कहा कि पुलिस और थाना के ऊपर पथराव किया जाना गलत है, लेकिन घटना के बाद पुलिस द्वारा की गई बर्बर कार्रवाई को भी सही नहीं ठहराया जा सकता। उन्होंने कहा कि पुलिस ठीक ढंग से जांच कर दोषियों पर कार्रवाई करे, लेकिन किसी भी निर्दोष के विरुद्ध कार्रवाई न की जाए। वहीं जबलपुर विधायक एवं मध्यप्रदेश के पूर्व मंत्री लखन घनघोरिया ने कहा कि यदि घर का कोई एक सदस्य आपराधिक घटना कर दे तो उसके अपराध की सजा पूरे परिवार को देना ठीक नहीं है। उन्होंने कहा कि अपराधी के घर पर बल्डोजर चलाने जैसी कार्रवाई कानून सम्मत नहीं है। पुलिस अपराधी को चिन्हित कर उस पर सख्त कार्रवाई करे लेकिन उसके अपराध की सजा उसके पूरे परिवार को न दे। इस अवसर पर प्रतिनिधिमंडल के साथ पूर्व विधायक नीरज दीक्षित, कांग्रेस के पूर्व जिलाध्यक्ष लखन लाल पटेल, कांग्रेस जिलाध्यक्ष महाप्रसाद पटेल, कार्यकारी जिलाध्यक्ष अनीश खान के अलावा सेवादल और एनएसयूआई के पदाधिकारी तथा कार्यकर्ता मौजूद रहे।
आरोपियों के पक्ष में सबूत जुटाने छतरपुर पहुंचे सुप्रीम कोर्ट के वकील

उल्लेखनीय है कि छतरपुर पत्थरकांड का मामला सुप्रीम कोर्ट तक पहुंच चुका है, जहां सुप्रीम कोर्ट के अधिवक्ता मोहम्मद प्राचा द्वारा प्रकरण के आरोपियों की पैरवी की जा रही है। गत रोज सुप्रीम कोर्ट के अधिवक्ता मोहम्मद प्राचा छतरपुर पहुंचे जहां उन्होंने हाजी शहजाद अली की जमींदोज हवेली का अवलोकन करने के बाद आरोपियों के परिजनों से मुलाकात की। मीडिया से बात करते हुए सुप्रीम कोर्ट के अधिवक्ता मोहम्मद प्राचा ने पुलिस और प्रशासन पर गंभीर आरोप लगाते हुए कहा कि प्रशासन ने एक अपराधी की तरह हाजी शहजाद और उनके भाई आजाद के मकान पर कार्रवाई की है, गाडिय़ों को कुचला है। यह पूरी कार्रवाई राजनैतिक लोगों के इशारे पर की गई है, जिसके सबूत जुटाने और स्थानीय न्यायालय में कार्रवाई की वीडियोग्राफी के संबंध में आवेदन लगाने के लिए वे छतरपुर आए हैं। उन्होंने बताया कि यदि पुलिस-प्रशासन ने अब तक की कार्रवाई की वीडियोग्राफी कराई है तो उसे न्यायालय में जमा कराना होगा और यदि नहीं कराई है तो इसके लिए प्रकरण दर्ज कराया जाएगा।

