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बड़वानी26 मिनट पहले
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सोमवार को एनएसयूआई छात्र बड़ी संख्या में कॉलेज में एकत्रित हुए और नई शिक्षा नीति पर अपना विरोध जताते हुए प्रदर्शन किया। इस दौरान उन्होंने पूरक परीक्षा और एटीकेटी के छात्रों की पुर्न मूल्यांकन एवं पूरक परीक्षा उत्तर पुस्तिका दिखाई जाने का प्रावधान जारी रखने की मांग की।
इसके बाद अपनी मांगों के समर्थन में उच्च शिक्षा के प्रमुख सचिव के नाम संबोधित कर ज्ञापन प्राचार्य को देकर मांगों के निराकरण की बात कही l
एनएसयूआई के जिला उपाध्यक्ष अशरफ मंसूरी ने बताया कि नई शिक्षा नीति सरकार द्वारा तानाशाही करके थोप दी गई। अब उसके लिए बच्चों को परेशान होना पड़ रहा है। बच्चों को डीएवीवी के चक्कर काटना पड़ेंगे, क्योंकि बड़वानी शहिद भीमा नायक शासकीय महाविद्यालय पर मजदूर गरीब किसान का बच्चा यहां पर पड़ता है। वो किराया भाड़ा लगाकर बार-बार इंदौर नही दौड़ सकता है। इतना खर्च भी नहीं उठा सकता है।
एनएसयूआई के जिला उपाध्यक्ष ने कहा कि पीजी कॉलेज की लोकल फैकल्टी को अपाइंट कर दिया जाए और बच्चों के फॉर्म यही भरकर यही फीस जमाकर नई शिक्षा नीति में एडमिशन दिया जाए। उन्होंने कहा कि कॉलेज प्रशासन ने हमें आश्वासन दिया कि हम ऑप्शनल व्यवस्था करके आपकी समस्याओं का जल्द से जल्द निराकरण करने की कोशिश करते हैं।
एनएसयूआई के जिलाउपाध्यक्ष ने बताया कि यदि हमारी मांगे नहीं मांगी गई तो हम एनएसयूआई के छात्रों द्वारा धरना प्रदर्शन सहित भूख हड़ताल कर उग्र आंदोलन किया जाएगा। छात्रों ने बताया कि नई शिक्षा नीति के कारण बड़वानी के कॉलेज में अध्यनरत हजारों छात्र-छात्राओं को कठिनाइयों का सामना करना पड़ रहा है।
इन्हीं छात्रों में बड़वानी सहित आसपास के जिले के भी छात्र कठिनाइयों का सामना कर रहे हैं। छात्रों ने मांग उठाई की नई शिक्षा नीति के अध्यादेशों में संशोधन कर छात्रों की आगे की पढ़ाई निरंतर जारी रखी जाए।
इसके साथ ही अतिरिक्त परीक्षा देने की अनुमति दी जाए पूरक परीक्षा एवं एटीकेटी के छात्रों की पुनर्मूल्यांकन एवं पूरक परीक्षा उत्तर पुस्तिका दिखाए जाने के प्रावधान जारी रखें।








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