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सीहोर15 मिनट पहले
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घने पहाड़ों के बीच विराजित है यहां पूरे प्रदेश से लाखों लोग आते हैं 1000 फीट की ऊंचाई पर विराजित मां बिजासन धाम 1400 सीढ़ी पार करना पड़ता है। सड़क मार्ग भी उपलब्ध है साथ में रोप बे सुविधा भी शुरू है। इतनी ऊंचाई होने के बाद भी मुश्किल से श्रद्धालु मां के दरबार जाते हैं।
यह मंदिर मध्य प्रदेश की आधी आबादी की कुल देवी का मंदिर भी कहलाता है यहां जब से मंदिर स्थापित है तब से अखंड धुना जलता एवं दो अखंड ज्योत भी जलती है जो करीबन 400 वर्षों से ज्योत ओर धुना जल रहा है ।
चैत्र नवरात्रि जिसके चलते विंध्याचल पर्वत सलकनपुर में भक्तों के आने का सिलसिला जारी है। यू तो देवी धाम सलकनपुर में साल भर ही भक्तों का तांता लगा रहता इस नवरात्रे में भी आठों दिन भक्तों की अच्छी खासी संख्या रही है।
गर्मी तेज होने पर भी भक्त अपने आप को रोक नहीं पा रहे हैं। आज अंतिम दिन है आज भी संख्या अच्छी खासी है इस के साथ सलकनपुर देवीधाम को उज्जैन के महाकाल लोक की तर्ज पर शक्तिलोक बनने जा रहा है। श्रद्धालुओं की माने तो देवी धाम अब अपनी भव्यता के लिए विख्यात होता जा रहा है।
मुख्यमंत्री ने करोड़ों का बजट सलकनपुर देवीधाम को दिया है। मां विजयासन धाम धीरे धीरे अपनी भव्यता का आकार लेता नजर आ रहा सैकड़ों कारीगर मंदिर को शक्तिलोक का विस्तार करने में रात दिन लगे हुए हैं।
श्रद्धालुओं को खूब भा रही मध्यप्रदेश सरकार की योजना
करोड़ों की लागत में तैयार हो रहे शक्तिलोक का निमार्ण जहां प्रगति पथ पर है जो हर आने जाने वालों का ध्यान अपनी ओर आकर्षित कर रही है। शक्ति लोक में मां अपने नौ रूपों में विराजमान रहेगी वही सप्तशती महात्म की कथा भी कॉरिडोर में उकेरी जायेगी। साथ ही 52 शक्ति पीठों के चित्र झांकी के दर्शन भी श्रद्धालुओं को देखने को सलकनपुर में मिलेंगे।
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