मध्यप्रदेश

FIR against the operator of Sarvajan Hospital in Narmadapuram | नर्मदापुरम में सर्वजन अस्पताल के संचालक के खिलाफ एफआईआर: बिना पंजीयन के संचालन, सोनोग्राफी मशीन मिलने पर किया सील; बिना कार्रवाई दी थी चाबी – narmadapuram (hoshangabad) News

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एक महीने पहले इसे सील किया गया।

नर्मदापुरम के जिला अस्पताल के एमडी डॉक्टर अंशु चुग के भाई और प्राइवेट सर्वजन अस्पताल के संचालक के खिलाफ गुरुवार रात को एफआईआर दर्ज हुई।

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संचालक लक्ष्य चुग के खिलाफ कोतवाली थाने में बिना पंजीयन के हॉस्पिटल संचालित करने और बिना लाइसेंस सोनोग्राफी रखने के अपराध में विभिन्न धाराओं में केस दर्ज किया गया। बिना पंजीयन हॉस्पिटल चलाने के चलते 1 अप्रैल को सिविल सर्जन और डीएचओ ने हॉस्पिटल सील कर दिया था। वहीं सर्वजन अस्पताल को बगैर कार्रवाई 24 अप्रैल को सीएमएचओ ने खोलने के लिए चाबी सौंप दी थी।

24अप्रैल को हॉस्पिटल को बिना कार्रवाई खोल दिया था।

24अप्रैल को हॉस्पिटल को बिना कार्रवाई खोल दिया था।

गुरुवार देर रात केस दर्ज जबकि नर्सिंग होम और पीसीपीएनडीटी एक्ट के तहत दोनों मामलों में अस्पताल पर एफआईआर का प्रावधान था। बिना कार्रवाई हॉस्पिटल खुलने पर मीडिया ने सीएमएचओ की कार्यप्रणाली पर सवाल उठाए थे, जिसके बाद फिर से हॉस्पिटल बंद कर दिया गया। साथ ही 5 दिन बाद गुरुवार रात 10 बजे कोतवाली थाने में सर्वजन हॉस्पिटल के संचालक लक्ष्य चूग के खिलाफ प्री नेटल डाइग्रास्टिक टेंकिक्स, एक्ट, मप्र उपचार्य गृह रजोपचार्य अधिनियम 1973 संशोधन अधिनियम 2008 के तहत अलग अलग धाराओं में केस दर्ज किया।

रफा-दफा करने का प्रयास, सौंपी थी चाबी मामले को स्वास्थ्य विभाग रफा-दफा करने के प्रयास में लगा रहा। 23 अप्रैल को जांच समिति द्वारा सौंपी रिपोर्ट में बिना पंजीयन के अस्पताल संचालन और सोनोग्राफी मशीन के संचालन की बात भी आई है। इसके बाद भी स्वास्थ्य विभाग के सीएमएचओ ने चाबी अस्पताल संचालक को बिना कार्रवाई के सौंप दी। 27 अप्रैल को खबर के बाद हॉस्पिटल दोबारा बंद हो गया था।

1अप्रैल को सील किया था।

1अप्रैल को सील किया था।

रजिस्ट्रेशन एक्सपायर हुआ फिर भी चलता रहा सिविल सर्जन डॉक्टर कामले और डीएचओ डॉक्टर वर्मा को जांच में 1 अप्रैल को सर्वजन हॉस्पिटल में सोनोग्राफी मशीन और पांच पलंग का आईसीयू वार्ड भी मिला था, जिसके संबंध में हॉस्पिटल मैनेजमेंट से दस्तावेज मांगे। लेकिन उन्होंने दस्तावेज बाद में जमा कराने का कहा था। हॉस्पिटल का पंजीयन भी दिसंबर 2024 तक था, जो एक्सपायर्ड हो गया है। बावजूद हॉस्पिटल का संचालन हो रहा था।

जिला अस्पताल में आईसीयू प्रभारी है डॉक्टर चुग नर्मदापुरम जिला अस्पताल में एक करोड़ की लागत से कोरोना के समय दस पलंग का आईसीयू बनाया, लेकिन इसमें एक भी मरीज भर्ती नहीं किया गया। आईसीयू के प्रभारी एमडी मेडिसिन डॉ. अंश चुग हैं। नर्मदापुरम शहर में मल्टीस्पेश्यलिटी सर्वजन अस्पताल डॉ. चुग के बड़े भाई लक्ष्य के नाम से पंजीकृत है। इसमें आईसीयू भी है। डॉ. चुग का खुद का अस्पताल है और वे ही सरकारी अस्पताल के आईसीयू के इंचार्ज हैं। ऐसे में सरकारी अस्पताल का आईसीयू बंद होना सवाल खड़े करता है।

सिविल सर्जन और डीएचओ से कार्रवाई के दौरान बहस की थी।

सिविल सर्जन और डीएचओ से कार्रवाई के दौरान बहस की थी।

विवाद बढ़ने पर टीम ने पुलिस को बुलाया था रजिस्ट्रेशन एक्सपायर होने से तत्काल सिविल सर्जन डॉक्टर कामले और डीएचओ डॉक्टर वर्मा ने हॉस्पिटल सील करने का कहा। जिसके बाद हॉस्पिटल के संचालक लक्ष्य चुग और एक महिला ने टीम से बहस की। विवाद बढ़ने पर टीम को पुलिस को बुलाना पड़ा था। करीब एक घंटे चले घटनाक्रम के बाद आखिर में टीम ने शटर गिराकर, उसमें ताले लगाए और सील किया था।

सौरभ पांडे, टीआई कोतवाली थाना नर्मदापुरम।

सौरभ पांडे, टीआई कोतवाली थाना नर्मदापुरम।

हॉस्पिटल संचालक के खिलाफ एफआईआर, करेंगे जांच कोतवाली थाना टीआई सौरभ पांडे ने बताया सीएमएचओ कार्यालय से मिले पत्र के आधार पर सर्वजन हॉस्पिटल के संचालक लक्ष्य चुग के खिलाफ अलग अलग धाराओं में केस दर्ज किया है। जिसमें बिना पंजीयन हॉस्पिटल का संचालन करने और बिना लाइसेंस सोनोग्राफी मशीन रखने, उपयोग करने का आरोप है। अब पुलिस मामले की शुरू से जांच करेगी।

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एडवोकेट अरविन्द जैन

संपादक, बुंदेलखंड समाचार अधिमान्य पत्रकार मध्यप्रदेश शासन

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